- अमेरिका में शादी, मिली नागरिकता, यौन उत्पीड़न के बाद फरार
- मेरठ में किया था होटल का बिजनेस
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: पहले संयुक्त राज अमेरिका की नागरिकता ली, फिर वहां की एक युवती से शादी की और यौन उत्पीड़न का आरोप लगने के बाद मुंबई भाग गया। करीब पन्द्रह साल बाद एसटीएफ ने आगरा से गिरफ्तार किया है। आरोपी ने कंकरखेड़ा में रहकर अमलताश होटल और रिसार्ट चलाया। इसे इंटरपोल सीबीआई के डीओ के प्रकरण में एफबीआई (यूएसए) से यौन उत्पीड़न के मामले में वांछित अमेरिकी नागरिक रत्नेश भूटानी निवासी मोदीनगर को एसटीएफ ने आगरा से गिरफ्तार किया है।
एएसपी एसटीएफ ब्रजेश सिंह ने बताया कि विदेश मंत्रालय, भारत सरकार में सयुंक्त राज्य अमेरिका से रत्नेश भूटानी अमेरिकी नागरिक जो यौन उत्पीड़न में वांछित था और जिसके विरुद्ध अमेरिका से रेड कॉर्नर नोटिस भी जारी हुआ हैं जिसको गिरफ्तार कर प्रत्यर्पण करने के लिए अनुरोध किया गया था। जिस पर इंटरपोल, सीबीआई के डीओ के द्वारा रत्नेश भूटानी उपरोक्त को गिरफ्तार करप्रत्यार्पण न्यायालय पटियाला कोर्ट में पेश करना था।
रत्नेश को गिरफ्तार कर न्यायालय पटियाला कोर्ट, दिल्ली में हाजिर करने के लिए एसटीएफ इकाइयों को जिम्मेदारी सौपी गयी। इस सम्बन्ध में कुलदीप नारायण, पुलिस अधीक्षक, एसटीएफ मेरठ द्वारा बृजेश कुमार सिंह, अपर पुलिस अधीक्षक को लगाया गया था। एसटीएफ को सर्विलांस के माध्यम से जानकारी प्राप्त हुई कि एफबीआई से वांछित अमेरिकी नागरिक रत्नेश भूटानी आगरा में हैं।
इस पर एसटीएफ टीम द्वारा अमेरिकी नागरिक रत्नेश भूटानी उपरोक्त को गिरफ्तार किया गया है। गिरफ्तार अभियुक्त ने बताया कि वर्ष 1996-97 में मोस्टक कैंसर लैब का काम करने कैलीफोर्निया गया था, जहां पर उसके चाचा रहते थे। कुछ दिन बाद स्थानीयलड़की से शादी कर ली जिसके बाद मुझे नागरिकता मिल गयी थी । वर्ष 2006 में रत्नेश ने अपनी करीबी रिश्तेदार के साथ दुष्कर्म किया।
दुष्कर्म के मुकदमे में वांछित होने के बाद रत्नेश पत्नी को वहीं छोड़कर भारत भाग आया। उसने भारत में पायलट आकांक्षा चौधरी से दूसरी शादी कर ली। 2014 से लगातार रत्नेश भूटानी के नाम से समन जारी हो रहे थे, लेकिन उसका कोई पता नहीं चलने के कारण समन वापस लौटाए जाते रहे। 2021 में जानकारी मिली कि रत्नेश कंकरखेड़ा के न्यू सैनिक विहार में रहता है। तभी पटियाला हाउस कोर्ट दिल्ली ने रत्नेश के खिलाफ वारंट जारी कर दिया।
इसके बाद इंटरपोल ने रत्नेश को वांछित घोषित कर यूपी के डीजीपी से उसकी गिरफ्तारी का आग्रह किया। वहां पर करीब वर्ष 2006 में खिलाफ केस दर्ज होने पर वर्ष 2007 में मुम्बई भाग आया और यहां परकेशव फिल्मस नाम से फिल्म कम्पनी बना ली और अपने भाई ऋषि भूटानी को बोलो राम फिल्म में लांच किया।
वर्ष 2006 में दर्ज मामला जब वर्ष 2014 में हाइलाइट हो गया तब मुम्बई से गायब हो गया एंव मेरठ, गुरुग्राम, आगरा आदि स्थानों पर छिपकर रह रहा था। जब मुझे वारण्ट जारी होने की जानकारी हुई तब से अत्यन्त सावधानी से छिपकर रह रहा था। इस दौरान मुम्बई से आने के बाद मेरठ में अमनतास होटल एंव रिसोर्ट का काम शुरू किया और कुछ सालों बाद उसे साहिबाबाद दिल्ली के रहने वाले सभरवाल को लीज पर दे दिया। लाकडाउन लगने के बाद पैसा पेडिंग हो गया, जिस कारण समरवाल से विवाद हो गया था जो बाद में शार्ट आउट हो गया था।