कंप्यूटर पर काम करना, फेसबुक, ट्विटर पर जाना सभी को आनंदित करता है उसी प्रकार मोबाइल पर घंटों बातें करना, एसएमएस करना, चैट करना (व्हट्सएप पर) गेम खेलना हर युवा को पसंद है। वे इतने मगन हो जाते हैं कि उन्हें समय की कोई परवाह ही नहीं होती। घर पर कोई आया है या मां के साथ काम कराना है उन्हें अधिक अच्छा ही नहीं लगता।
कहीं आप भी इनके शिकार तो नहीं। बहुत तेज सिरदर्द, आंखें लाल होना, आंखों में ड्राइनेस, पीठ, कंधे में लगातार दर्द होना जैसी समस्याएं इलेक्ट्रानिक गैजेट्स जैसे मोबाइल और कंप्यूटर की देन हैं। अक्सर लोग सोचते है कि तेज सिरदर्द, आंखों में ड्राइनेस टेंशन और अधिक काम के कारण होती है लेकिन इसकी असली वजह कंप्यूटर और मोबाइल के अधिक प्रयोग से है।
विशेष ध्यान देने की यह बात है कि ऐसी समस्याएं हर वर्ष 6 से 7 प्रतिशत बढ़ रही है, पर इस ओर ध्यान आकर्षित अभी नहीं हो रहा है। आप इनके प्रयोग में सावधानी बरतकर स्वयं को कुछ बीमारियों से दूर रख सकते हैं। आइए जानें कौन सी समस्याएं युवाओं में बढ़ रही हैं।
बात-बात पर गुस्सा
मोबाइल का अधिक प्रयोग करने वाले बात-बात पर अपना रिएक्शन देते हैं, विशेषकर युवा वर्ग के लोग। चाहे सिचुएशन रिएक्ट करने की न हो, तब भी अपना गुस्सा काबू नहीं कर पाते क्योंकि मोबाइल का अधिक प्रयोग उन्हें चिड़चिड़ा बना देता है, ऐसा मानना है डाक्टरों का।
उंगलियों और कलाइयों को पहुंचता है नुकसान
लगातार मोबाइल और कंप्यूटर के की-बोर्ड पर उंगलियां दौड़ाने से आप जाने अनजाने ‘कार्पल टनल सिंड्रोंम’ नामक बीमारी से घिर जाते हैं। ऐसे में आंखों के साथ साथ उंगलियों और कलाइयों पर अधिक प्रभाव पड़ता है जिससे हाथों में सुन्नपन, कमजोरी और बाजुओं से कंधों तक उठाने में दर्द महसूस होता है।
मोबाइल पर गेम खेलते समय और एसएमएस करते समय लोग अंगूठे का प्रयोग अधिक करते हैं। अंगूठे पर बार बार जोर पड़ने से नसों में खिंचाव बनता है जो नुकसानदेह है।
पेट में होती गड़बड़ी
एक शोध के अनुसार मोबाइल फोन में टॉयलट के फ्लश हैंडल से औसतन 18 गुना ज्यादा हानिकारक बैक्टीरियां होते हैं। इससे सिद्ध होता है कि मोबाइल और फोन पर खतरनाक बैक्टीरिया होते हैं, जो मोबाइल धारक लोगों की सेहत पर बुरा प्रभाव डालते हैं और पेट की बीमारी की आशंका को बढ़ाते हैं।
मोबाइल पर बैक्टीरिया का कारण है कि हम फोन को इधर-उधर रख देते हैं और उस पर बैक्टीरिया लगते जाते हैं। वही बैक्टीरिया जब हम फोन को उठा कर बात करते हैं तो हमारे हाथों और कानों तक पहुंच जाते हैं जो हमारे खाने के साथ पेट में चले जाते हैं और पेट संबंधी रोगों को बढ़ाने में वही बैक्टीरिया मदद करते हैं।
घंटों आंखें मोबाइल और कंप्यूटर पर लगी रहने से होती हैं बीमारी
मोबाइल पर गेम खेलने, एसएमएस करने और कंप्यूटर पर काम करेन, चैंटिंग और काम करने से आंखें स्क्रीन पर कई घंटे लगातार लगी रहती हैं जो आंखों की थकान और आंखों की रोशनी पर प्रभाव डालती हैं क्योंकि यह स्थिति आंखों के लिए अप्राकृतिक होती है।
लंबे समय तक स्क्रीन पर देखने से काफी एनर्जी खर्च होती है जो आंखों का नुकसान पहुंचाती है। लगातार स्क्रीन पर नजर जमाए रखने से आंखें बहुत कम झपकती हैं, जिससे आंखें ड्राई हो जाती हैं और आंखों के चारों ओर सूजन भी बनी रहती है।
ध्यान दें कुछ बातों पर
- आंखें झपकाते रहें।
- स्क्रीन के कलर साधारण रखें।
- बीच बीच में आंखें बंद कर आराम करें।
- कंप्यूटर पर काम करते समय स्पेशल चश्मे का प्रयोग करें ताकि आंखों को कम मेहनत करनी पड़े।
- अपनी उंगलियों और हाथों को आराम दें। कुछ व्यायाम भी हाथों और उंगलियों के करते रहें।
- हाथ दिन में काफी बार धोएं ताकि बैक्टीरिया पेट में न जाने पाएं। खाने से पूर्व हाथ अच्छी तरह से साफ करें।