जनवाणी ब्यूरो |
नई दिल्ली: दिल्ली के अस्पतालों में ऑक्सीजन आपूर्ति, बेड और दवाओं की कमी को लेकर हाईकोर्ट में बहस जारी है। ऑक्सीजन की कमी के चलते शनिवार को बत्रा हॉस्पिटल में डॉक्टर समेत 8 मरीजों की मौत हो गई। इसके बाद कोर्ट ने कहा कि पानी सिर से ऊपर चला गया है। केंद्र सरकार को आदेश देते हुए कहा कि दिल्ली को आज हर हाल में उसके कोटे की ऑक्सीजन दें।
ऑक्सीजन की कमी से हुई मौत पर अरविंद केजरीवाल ने कहा कि ये खबर बहुत ही ज्यादा पीड़ादायी है। उन्होंने कहा कि सही समय पर ऑक्सीजन देकर इनकी जान बच सकती थी। दिल्ली को उसके कोटे की ऑक्सीजन दी जाए। अपने लोगों की इस तरह होतीं मौतें अब और नहीं देखी जाती। दिल्ली को 976 टन ऑक्सीजन चाहिए, लेकिन कल केवल 312 टन ऑक्सीजन दी गई। इतनी कम ऑक्सीजन में दिल्ली कैसे सांस ले?
वहीं इससे पहले बत्रा अस्पताल ने दिल्ली हाईकोर्ट को बताया कि वह सुबह से ही ऑक्सीजन की कमी से जूझ रहा था। उसके पास ऑक्सीजन का पूरा स्टॉक खत्म हो गया था। जिसके चलते कई लोगों की जान चली गई, जिसमें उसके डॉक्टर भी शामिल हैं। हालांकि, कुछ समय पहले ऑक्सीजन टैंकर पहुंचा, लेकित तब तक कई लोगों की मौत हो गई थी। दिल्ली उच्च न्यायालय ने अस्पताल को ऑक्सीजन जनरेटर स्थापित करने का सुझाव दिया।
Delhi Govt's advocate Rahul Mehra urges Hc to issue a contempt notice to erring supplier for supplying less than 40% of their voluntarily agreed amount, saying that unless we put the fear in supplier, they will take the city on ransom.
HC asks Amicus curiae to talk to supplier
— ANI (@ANI) May 1, 2021
बत्रा अस्पताल के अधिकारियों ने बताया था कि आज सुबह 6 बजे से ही ऑक्सीजन के संकट से जूझ रहे थे। अस्पताल में 307 मरीज भर्ती थे, जिनमें से 230 को ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा गया था। वहीं दिल्ली सरकार द्वारा उठाए गए कदमों और उनकी असफलता को देखते हुए कोर्ट आग बबूला हो गया और कहा कि अगर स्थिति आपसे संभल नहीं रही थी तो सेना की मांग करनी चाहिए थी। हाईकोर्ट ने कहा कि इस वक्त हर कोई तनाव में हैं, यहां तक कि हम खुद तनाव में हैं।