- प्रधानमंत्री को चिट्ठी लिख यूपीएससी, एसएससी, बैंकिंग, सेना और पुलिस भर्तियों में लाभ दिलाने व नौकरियों में युवाओं को आयु में 2 साल की छूट और 2 अतिरिक्त अवसर देने की मांग
जनवाणी संवाददाता |
मुजफ्फरनगर: भारतीय किसान यूनियन भाकियूद्ध के राष्ट्रीय प्रवक्ता चौ. राकेश टिकैत ने बेरोजगार युवाओं को राहत दिलाने के लिए केन्द्र सरकार से नौकरियों और भर्तियों के लिए नई व्यवस्था लागू कराने की मांग की है। इसके लिए किसान नेता ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को चिट्ठी लिखी है।
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इसमें उन्होंने कर्चचारी चयन आयोग (ईएससी) के साथ ही यूपीएससी, एसएससी, बैंकिंग और अन्य नौकरियों में युवाओं को आयु में 2 साल की छूट और उनको नौकरियों के लिए आवेदन के 2 अतिरिक्त अवसर उपलब्ध कराये जाने की मांग की है। इसके लिए उन्होंने कोरोना संक्रमण के दो साल को युवाओं के लिए परेशानी का कारण भी बताया है।
इससे पहले सेना भर्ती रैली का आयोजन कराये जाने के लिए राकेश टिकैत रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को भी चिट्ठी लिख चुके हैं। किसान नेता ने पीएम को लिखी चिट्ठी के साथ पीएमओ इंडिया को ट्वीट किया है। इसमें उन्होंने कहा है कि उनको उम्मीद है कि पीएम मोदी देश की युवा शक्ति के हित में 2 वर्ष की छूट अवश्य लागू करने का निर्णय लेंगे।
भाकियू प्रवक्ता चौ. राकेश टिकैत किसानों के साथ ही बेरोजगार युवाओं का मुद्दा भी समय समय पर बड़े मंचों पर उठा चुके हैं। कोरोना संक्रमण काल के बाद से ही पश्चिमी उत्तर प्रदेश में सेना भर्ती रैली का आयोजन लगातार स्थगित किये जाने को लेकर परेशान युवाओं की आवाज को उन्होंने पिछले दिनों बल दिया और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह को चिट्ठी लिखकर जल्द ही सेना भर्ती रैली का आयोजन कराकर इस क्षेत्र के युवाओं को लाभ दिलाने पर जोर दिया था।
अब उनके द्वारा सरकारी नौकरियों के अवसर में पिछड़ रहे युवाओं की परेशानी को देखते हुए राकेश टिकैत ने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को चिट्ठी भेजी है। इस पत्र में उन्होंने देश में काम कर रहे सभी चयन आयोग के द्वारा आयोजित भर्तियों और नौकरियों में बेरोजगार युवाओं को 2 साल की विशेष छूट दिलाये जाने की व्यवस्था की मांग की है।
राकेश टिकैत ने पीएम मोदी को लिखे पत्र में कहा है कि भारतीय संविधान के अनुच्छेद-16 में अवसर में समानता की व्याख्या की गई है। किन्तु कोविड-19 जैसे वैश्विक संकट के दौरान अपने भविष्य को संवारने के लिए मेहनत और प्रयासों में जुटे देश के युवाओं को अपने परिश्रम और प्रतिभा को प्रदर्शित करने का उचित अवसर प्राप्त ही नहीं हो पाया है।
उन्होंने एसएससी (राज्य चयन आयोग) के तहत सीजीएल-एसएससी और सीएचएसएल 2017 परीक्षा के परिणामों पर सर्वोच्च न्यायालय द्वारा रोक लगा दिये जाने का उल्लेख करते हुए कहा कि इसके कारण कर्मचारी चयन आयोग (ईएससी) एसएससी की किसी भी प्रारंभिक परीक्षा वर्ष 2018 से 2019 के सत्र में एक वर्ष तक आयोजित नहीं की गई थी और फिर कोरोना महामारी की पहली और दूसरी लहर के कारण परीक्षाएं निर्धारित समय पर आयोजित नहीं की की जा सकीं।
किसान नेता ने अपने पत्र में कहा कि इन सभी के बावजूद एसएससी एज रिकोनिंग पॉलिसी के कारण कई उम्मीदवारों ने उचित आयु सीमा पूर्ण होने से पहले ही परीक्षा देने की अपनी योग्यता को गवां दिया है।
राकेश टिकैत ने पीएम मोदी से कहा कि उडीसा, मेघालय, उत्तराखंड, हरियाणा, तेलंगाना, नागालैंड, महाराष्ट्र, गुजरात, जम्मू कश्मीर की राज्य सरकारों ने कोरोना महामारी के कारण भर्ती परीक्षाओं में आयु में छूट दी है। उडीसा सरकार ने तीन कैलेंडर वर्षों 2021, 2022 और 2023 के लिए सभी सरकारी नौकरियों की ऊपरी आयु सीमा को 32 वर्ष से 38 वर्ष कर दिया है और मेघालय सरकार ने ऊपरी आयु सीमा में 5 साल की छूट का प्रावधान किया है।
राकेश टिकैत ने इन राज्यों की व्यवस्था को दृष्टिगत रखते हुए पीएम मोदी से अनुरोध किया है कि वह सभी प्रतियोगी परीक्षाओं यूपीएससी, एसएससी, बैंकिंग और रेलवे में प्रवेश के लिए इन युवाओं को आयु सीमा में दो वर्ष की छूट एवं दो अतिरिक्त अवसर प्रदान किये जाने की व्यवस्था को लागू किया जाये।
किसान नेता ने पीएम मोदी से यह आशा जताई है कि वह युवाओं के हित को ध्यान में रखकर देश के मुखिया होने के नाते दो साल से संघर्ष कर रहे युवाओं की इस मांग को अविलंब पूरा करेंगे।