Tuesday, May 13, 2025
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आज ममता बनर्जी के नेतृत्व में विपक्ष करेगा बैठक, पढ़िए- पूरी खबर

  • शरद पवार नहीं लड़ेंगे राष्ट्रपति पद का चुनाव ममता का प्रस्ताव ठुकराया

जनवाणी ब्यूरो |

नई दिल्ली: राष्ट्रपति चुनाव में एनसीपी प्रमुख शरद पवार के विपक्ष का चेहरा बनने से इनकार करने के बाद अब संयुक्त उम्मीदवार के नाम को लेकर ममता की अगवानी में बुधवार को दिल्ली में मंथन होगा। ममता बनर्जी बैठक से पहले शरद पवार से मिलीं तो एनसीपी प्रमुख ने उनसे अपने मन की बात कही।

राजधानी के कंस्टीट्यूशन क्लब में बुधवार को ममता बनर्जी के आह्वान पर सभी विपक्षी दल जुटेंगे। इससे पहले ममता की पवार के साथ हुई मुलाकात के बारे में बताते हुए माकपा महासचिव सीताराम येचुरी ने कहा कि हमने शरद पवार को संयुक्त उम्मीदवार बनने के लिए मनाया, लेकिन उन्होंने इंकार कर दिया। ममता के साथ येचुरी, डी राजा और प्रफुल्ल पटेल व पीसी चाको ने भी पवार से मुलाकात की। सूत्रों के मुताबिक कांग्रेस और वाम दल भी बैठक में हिस्सा लेंगे।

कांग्रेस की ओर से राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, जयराम रमेश और रणदीप सुरजेवाला बैठक में हिस्सा लेंगे। वहीं, भाकपा के महासचिव डी राजा ने कहा, वाम दल चाहता है कि विपक्ष की सभी धर्मनिरपेक्ष लोकतांत्रिक पार्टियां एकजुट रहें, इसलिए हम ममता की बुलाई बैठक में शामिल होंगे और देखेंगे कि आगे की क्या दिशा तय होती है। कांग्रेस के शरद पवार को उम्मीदवार बनाने के सवाल पर राजा ने कहा, मुझे इस बारे में कुछ नहीं पता। आप यह सवाल कांग्रेस से पूछें। अगर वह ऐसा चाहते हैं तो इसका कारण भी वही बताएंगे।

पवार ऐसी लड़ाई में नहीं उतरना चाहते, जहां हार तय

सूत्रों के मुताबिक पवार ऐसे मुकाबले में नहीं उतरना चाहते हैं, जिसमें हार तय है। सत्तारूढ़ एनडीए के पास राष्ट्रपति चुनाव के लिए मतदाताओं के 50 फीसदी वोट मौजूद हैं। इसके बाद बीजद, अन्नाद्रमुक और वाईएसआर-सीपी जैसे कुछ स्वतंत्र दलों के समर्थन से उसके उम्मीदवार की जीत आसानी से तय है।

ममता बनर्जी ने 2024 लोकसभा चुनाव से पहले विपक्ष को एकजुट करने की एक और कोशिश करते हुए राष्ट्रपति चुनाव में आम सहमति बनाने से शुरूआत की है। ममता ने 22 विपक्षी नेताओं को पत्र लिखकर बैठक में आने का निमंत्रण दिया।

पवार की न के बाद अब गोपालकृष्ण गांधी के नाम की चर्चा

शरद पवार के मना करने के बाद राष्ट्रपति चुनाव के लिए एकजुट लड़ाई पेश करने के लिए विपक्ष पश्चिम बंगाल के पूर्व राज्यपाल गोपालकृष्ण गांधी के संपर्क में है। सूत्रों के मुताबिक विपक्ष के कुछ नेताओं ने इस संबंध में गांधी से फोन पर बात भी की है। 2017 में पूरा विपक्ष उपराष्ट्रपति के लिए गांधी के नाम पर सहमति जता चुका है, लेकिन तब एम वेंकैया नायडू जीतकर उपराष्ट्रपति बने थे।

सूत्रों के मुताबिक विपक्ष के कुछ नेताओं ने गांधी से उनकी ओर से संयुक्त उम्मीदवार के तौर पर राष्ट्रपति चुनाव के लिए नामांकन कराने की अपील की है। उनके अलावा कुछ और नामों पर भी विचार विमर्श जारी है और विपक्ष के नेता उन लोगों से बात कर रहे हैं। गांधी 2004 से 2009 तक पश्चिम बंगाल के राज्यपाल रहे। सूत्राें की मानें तो विपक्षी नेताओं की मांग पर विचार के लिए कुछ समय मांगा है और वह बुधवार को अपना जवाब देंगे। वहीं बात करने वाले विपक्ष के नेताओं ने कहा, गांधी की ओर से सकारात्मक संकेत मिले हैं।

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