- 250 वंदे भारत के लिए 1900 कोच बनाएगी रूसी कंपनी
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: शहर से वाराणसी व अयोध्या के लिए अत्याधुनिक वंदे भारत ट्रेन चलाने की मांग अगले वर्ष पूरी होगी। देश में वंदे भारत ट्रेनों की बढ़ती मांग को देखते हुए रेलवे ने रूसी कंपनी से करार किया है। रूसी कंपनी 250 वंदे भारत के लिए 1900 अत्याधुनिक कोच बनाएगी। रेलवे के अधिकारियों को उम्मीद है कि रूसी कंपनी की वंदे भारत मेरठ से वाराणसी के लिए चलाने को मिलेगी।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा ट्रेनों की स्पीड बढ़ने और हाईटेक व हाईस्पीड ट्रेनों के संचालन पर जोर दिया जा रहा है। पीएम के वीजन को पूरा करने के लिए बीएचईएल और टीआरएसएल ने मिलकर पहली वंदे भारत ट्रेन बनाई थी। 15 फरवरी 2019 को इस ट्रेन का संचालन नई दिल्ली वाराणसी के लिए शुरू किया गया। इसकी डिमांड बढ़ती गई और विभिन्न रूटों पर वंदे भारत का संचालन किया जा रहा है। दिल्ली से देहरादून और मेरठ से लखनऊ के लिए वंदे भारत ट्रेन का संचालन किया जा रहा है।
इस हाईटेक ट्रेन की अधिकतम स्पीड 160 किलोमीटर प्रति घंटा है। इस ट्रेन में एंटी ब्रेकिंग सिस्टम लगा है, जिससे तेज स्पीड में ट्रेन को आसानी से और सुरक्षित तरीके से रोका जा सकता है। इस ट्रेन में जीपीएस भी लगा है, जिससे इस ट्रेन की यात्री व अन्य लोग लाइव लोकेशन इंटरनेट पर जान सकते हैं। इस ट्रेन के कोच चेन्नई स्थित इंटीग्रल कोच फैक्ट्री में तैयार किए जाते हैं। कोच की इंटीरियर की बात करें तो इनमें लकजरी सीटें लगी हैं। एलईडी स्क्रीन लगी हैं, जिनपर फिल्मों या अन्य कार्यक्रमों का प्रसारण किया जाता है, जिससे यात्री मनोरंजन करते रहे।
इस ट्रेन के सभी कोच पूर्ण रूप से वातानुकूलित होते हैं। देशभर से वंदे भारत ट्रेन को चलाने की मांग जनता द्वारा की जा रही है। भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व राज्यसभा सदस्य डा. लक्ष्मीकांत वाजपेयी, सांसद अरुण गोविल मेरठ से वाराणसी व अयोध्या तक वंदे भारत ट्रेन का संचालन करने की मांग कर रहे हैं। इस संबंध में वे रेलमंत्री से भी मिल चुके हैं। मांग के अनुसार वंदे भारत ट्रेनें तैयार नहीं हो पा रहीं।
ऐसे में भारतीय रेलवे ने रूस की विश्वविख्यात ट्रेन बनाने वाली टीएमएच कंपनी के साथ करार किया है। टीएमएच आरवीएनल के साथ मिलकर महाराष्ट्र के लातूर में स्थित रेल कोच कारखाने में करीब 250 वंदे भारत का निर्माण करेगी। उक्त कंपनी 1900 कोच तैयार करेगी। अगले वर्ष ट्रेनों का निर्माण शुरू हो जाएगा। रेलवे के अधिकारी भी उम्मीद जता रहे है कि रूसी कंपनी द्वारा तैयार वंदे भारत स्लीपर ट्रेन अगले वर्ष मेरठ से वाराणसी तक चला दी जाएगी।