जनवाणी संवाददाता |
मुजफ्फरनगर: ईट भट्टे पर मजदूरी करने के लिए डीसीएम में सवार होकर जा रहे हैं मजदूरों कोट्रक चालक द्वारा टक्कर मार दिए जाने के बाद हादसे का शिकार हुए चार युवा मजदूरों का गांव पीपल हेड़ा में बेहद गमगीन माहौल के बीच अंतिम संस्कार कर दिया गया ग्रामीणों में इस हादसे को लेकर बनकर गुस्से को देखते हुए कई थानों की फोर्स मौके पर तैनात रही भारतीय किसान संगठन ने राज्य सरकार से गरीब मजदूर परिवारों के लिए आर्थिक सहायता की मांग की है सहायता ना दिए जाने पर आंदोलन की चेतावनी दी गई है।
बता दें कि मुजफ्फरनगर के थाना तितावी क्षेत्र के गांव पीपलहेडा निवासी दलित परिवार के करीब 30-40 लोग पंजाब के लुधियाना शहर के रायकोट में स्थित ईंट भट्टे पर मजदूरी करने के लिए शनिवार की शाम गांव से डीसीएम में सवार होकर निकले थे। इनमें से कुछ मजदूरों ने अपनी बाइक पर भी डीसीएम में चढ़ा ली थी। ये लोग रात्रि करीब 12 बजे सहारनपुर जनपद के थाना तीतरो क्षेत्र के गंगोह तीतरो मार्ग पर गांव झाडवन के पास पहुंचे।
यहां पर मजदूरों ने चाय पीने और पेशाब आदि करने के लिए डीसीएम को रुकवाया। चालक ने डीसीएम को सड़क किनारे रोक दिया था। अभी मजदूर डीसीएम से उतरने की तैयारी ही कर रहे थे कि पीछे से तेज गति से आ रहे एक ट्रक चालक ने डीसीएम में सीधे टक्कर मार दी।
यह दुर्घटना इतनी भयंकर थी कि टक्कर लगते ही चीख पुकार मच गयी। हादसे का शिकार हुए चार मजदूरों में पीपलहेडा गांव निवासी विपिन व नीटू पुत्रगण दरिया सिंह, सोनू पुत्र चतरा और सोनू लाला पुत्र कतरू शामिल थे। जबकि इस हादसे में एक महिला सहित दर्जनों मजदूर घायल हो गए ग्रामीणों के अनुसार महिला को मेरठ निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया है जबकि आठ अन्य मजदूरों की हालत भी गंभीर बनी हुई है।
रविवार शाम के समय हादसे में मारे गए चारों मजदूरों केशव गांव पीपल हेड़ा पहुंचे तो कोहराम मच गया। पूरा गांव और आसपास क्षेत्र के लोग इन मजदूर परिवारों के इस दुख में शामिल हुए सभी की आंख नम थी इन चार मजदूरों में दो सगे भाई भी शामिल थे जो इस हादसे का शिकार हुए हैं।
भारतीय किसान संगठन के राष्ट्रीय अध्यक्ष ठाकुर पूरण सिंह भी अन्य पदाधिकारियों एवं कार्यकर्ताओं के साथ गांव पीपलखेड़ा पहुंचे और मजदूरों के अंतिम संस्कार में शामिल रहे। इस हादसे के बाद ग्रामीणों में गुस्से को देखते हुए थाना तितावी थाना फुगाना और थाना भोरा कला की पुलिस फोर्स गांव में तैनात रही भारतीय किसान संगठन के अध्यक्ष ठाकुर पूरण सिंह ने राज्य सरकार से इस हादसे में मारे गए और घायल मजदूरों के परिवार के लिए आर्थिक सहायता की मांग करते हुए कहा कि यदि सरकार ने इन परिवारों के लिए मदद नहीं दी तो किसान संगठन सरकार की नींद तोड़ने के लिए बड़ा आंदोलन करेगा।
हादसे में मारे गए मजदूर अपने परिवार का सहारा थे और घायल मजदूर भी गरीब परिवार का हिस्सा है उपचार के लिए इन परिवारों के पास पैसा भी नहीं है इस हादसे में घायल एक महिला को मेरठ मेडिकल कॉलेज में भर्ती कराया गया है कई अन्य मजदूरों की हालत भी गंभीर है सरकार ने यदि मदद नहीं की तो हम आंदोलन से पीछे नहीं हटेंगे इस हादसे में मारे गए चार मजदूरों जिनमें से दो सगे भाई शामिल थे केशव जब गांव पहुंचे तो पूरे गांव में मातम पसरा नजर आया गांव में चार युवा मजदूरों की चिताओं को एक साथ जलती देख कर हर आंख से पानी बह रहा था।