Saturday, June 29, 2024
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याकूब, फिरोज की मुश्किलें बढ़ी, अग्रिम जमानत खारिज

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  • जिला जज ने पत्नी को दी जमानत, इमरान की याचिका पर सुनवाई 30 को

जनवाणी संवाददाता |

मेरठ: गैर कानूनी तरीके से चलाई जा रही अलफहीम मीटेक्स प्राइवेट लिमिटेड के मामले में फरार चल रहे पूर्व मंत्री याकूब कुरैशी और उनके बेटे फिरोज की मुश्किलें बढ़ती जा रही है। सोमवार को जिला जज की अदालत में याकूब कुरैशी और फिरोज की अग्रिम जमानत की याचिका खारिज कर दी गई। जबकि पत्नी को अदालत ने जमानत पर रिहा करने के आदेश कर दिये हैं। वहीं, याकूब कुरैशी के बेटे इमरान कुरैशी की अग्रिम जमानत पर सुनवाई 30 मई को होगी।

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जिला जज रजत सिंह जैन की अदालत में याकूब कुरैशी और पत्नी शमजिदा बेगम की अग्रिम जमानत पर सुनवाई हुई। 31 मार्च को अलफहीम मीटेक्स प्राइवेट लिमिटेड में मीट पैकेजिंग और मीट प्रोसेसिंग का अवैध कारोबार पकड़ा गया था। इस मौके पर फिरोज, रहीश, शाकिब, सुल्तान सलाउद्दीन, शहनवाज अहमद खान, मंजूर आलम, मुफीद हुसैन और इलियास को गिरफ्तार किया गया था।

इन लोगों ने बताया था कि रात के वक्त कच्चा मीट लाया जाता है और इसको प्रोसेस करके पैकेजिंग की जाती है। इस फैक्ट्री में 2019 के बाद एक बार भी लाइसेंस नहीं लिया गया था। इस फैक्ट्री के प्रबंध निदेशक मौहम्मद इमरान है और फिरोज निदेशक है। जबकि कंपनी के 33 हजार शेयर याकूब कुरैशी और 24 हजार शेयर पत्नी शमजिदा के पास हैं। यह भी कंपनी की निदेशक थी, लेकिन एक अप्रैल 2019 को त्यागपत्र दे दिया था।

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खरखौदा थाने में याकूब और उनके परिवार के तीन सदस्यों के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ था। तभी से पूरा परिवार फरार चल रहा है। याकूब कुरैशी ने इलाहाबाद हाईकोर्ट में एफआईआर दर्ज करने का आवेदन किया था। जिसे अदालत ने खारिज कर दिया था। अदालत में सरकारी वकील के द्वारा कहा गया कि याकूब कुरैशी मंत्री भी रह चुका है। ऐसी दशा में एकत्रित साक्ष्य के आधार पर भले ही कंपनी के निदेशक मंडल में न हो, लेकिन कंपनी का वास्तविक संचालन उसके ही द्वारा होता था।

वहीं अदालत ने माना कि पत्नी शमजिदा बेगम के खिलाफ ऐसा कोई साक्ष्य नहीं मिला। जिससे लगता हो कि वो कंपनी में आती जाती हो और संचालन करती हो। जिला जज ने याकूब कुरैशी और उसके बेटे फिरोज कुरैशी की अग्रिम जमानत याचिका खारिज करते हुए पत्नी को जमानत दे दी। पत्नी को दो लाख रुपये के बंध्यपत्र और इतनी ही राशि के दो मुचलके जमा करने पर रिहा करने के निर्देश दिये हैं।

पूर्व मंत्री आजम खां से विवाद पड़ा भारी

फरार चल रहे याकूब कुरैशी की परेशानी उस समय शुरू हो गई थी, जब अल्पसंख्यक कल्याण के लिये सपा सरकार के द्वारा जारी किये करोड़ों रुपये के फंड में गड़बड़ी हुई थी। उस वक्त आजम खान ने सवाल उठाया था तब याकूब कुरैशी ने अपनी हनक दिखाते हुए आपत्तिजनक टिप्पणी कर दी थी। आजम खान ने याकूब के द्वारा संचालित कमेले को ध्वस्त कराकर राजकीय कन्या इंटर कालेज खुलवा दिया था। याकूब के कारण करीब 20 हजार कुरैशी बिरादरी के मजदूर सड़कों पर आ गए थे। अब अलफहीम मीटेक्स के गैरकानूनी तरीके से चलने के कारण प्रशासन के द्वारा की गई कार्रवाई ने मुश्किल में डाल दिया है।

गैंगस्टर के तहत होगी सख्त कार्रवाई

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एसपी देहात केशव कुमार ने बताया कि अग्रिम जमानत की याचिका खारिज होने के बाद अब गिरफ्तारी के मौके ज्यादा हो गये हैं। पहले 83 की कार्रवाई की जाएगी। चार्जशीट लगाने के बाद गैंगस्टर के तहत सख्त कार्रवाई की जाएगी।

मकान बिकने से पहले 42 लाख का मकान कुर्क

मेरठ: कुख्यात बदमाश अतीक अहमद पुलिस को चकमा देने के लिये अपना 42 लाख रुपये कीमत का मकान बेचना चाहता था, लेकिन इससे पहले मुरादाबाद पुलिस ने आकर मकान कुर्क कर लिया। कुख्यात अतीक अहमद का सोमवार को मुरादाबाद पुलिस ने करीब 42 लाख रुपये कीमत का मकान कुर्क किया है। अतीक पर मेरठ व मुरादाबाद जिलों में जानलेवा हमले, रंगदारी, लूट के 15 मुकदमे दर्ज हैं।

मुरादाबाद के कटघर की पुलिस आई थी। कुख्यात अतीक का मकान जब्ती की कार्रवाई कर चली गई। सीओ कोतवाली मेरठ अरविंद चौरसिया ने बताया कि फहतेउल्लापुर माता वाली गली के पीछे निवासी अतीक पुत्र फकरू पर 13 मुकदमें हैं। यह कुख्यात मेरठ और मुरादाबाद में गैंग बनाकर अपराध करता था। जिसने अपने अन्य साथियों के साथ मिलकर अपराध से अवैध तरह से संपत्ति अर्जित की है। फहतेउल्लापुर माता वाली गली के पीछे के इस मकान को बेचने की तैयारी में था। जबकि इस कुख्यात का परिवार दूसरे मकान में रहता है। सीओ का कहना है की अन्य संपत्ति की भी जांच की जा रही है।

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