- बिना अनुमति के लगा रहे गाड़ियों में सीएनजी एवं एलपीजी किट
- आखिर कब होगी ऐसे बिना अनुमति के किट लगाने वाले डीलरों के खिलाफ कार्रवाई
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ/मोदीपुरम: सीएनजी किट लगवाकर लोग भले ही महंगे पेट्रोल से बच रहे हैं, लेकिन इन सस्ती किट के चक्कर में लोगों की जिंदगी पर खतरा मंडरा रहा है। कई बार ऐसी सीएनजी किट लगे वाहन में आग लगने की घटनाएं हो चुकी हैं। शहर में कभी भी और कहीं भी जोरदार धमाके के साथ कोई बड़ी दुर्घटना घट सकती है।
इस प्रकार की घटना का कारण बनेंगे वे वाहन जिनमें धड़ल्ले से घरेलू गैस सिलेंडरों का इस्तेमाल किया जा रहा है। ऐसे वाहन कभी भी मोबाइल बम का काम कर सकते हैं। वाहनों में घरेलू गैस का अवैध तरीके से प्रयोग करने वाले ये वाहन चालक एक तरफ तो घरेलू गैस का दुरुपयोग कर रहे है।
उनके इस कारनामे से गैस सिलेंडरों की कालाबाजारी भी जोरों से हो रही है। वर्तमान में गैस की किल्लत से आम आदमी को परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। इस समय शहर में कई ऐसे मेकेनिक सक्रिय है, जो वाहनों में गैस किट लगा रहे हैं और गाड़ियों में रसोई गैस भर रहे हैं।
पेट्रोल की बढ़ती कीमतों से बचने के लिए ही वाहन चालक ऐसी गैस किट लगवा रहे हैं। इनमें खतरनाक पहलू ये है कि इन वाहनों में गैस किट लगवाने के बाद रसोई गैस सिलेंडर लगाए जा रहे हैं और वे सिलेंडर सीधा रखने की बजाय गाड़ियों में लिटा कर रखे जाते हैं। इससे गैस लीक होने की संभावना बराबर बनी रहती हैं।
गैस कंपनियों का इन सिलेंडरों के बारे में उपभोक्ताओं को स्पष्ट निर्देश है कि सिलेंडरों को टेढ़ा न किया जाए और इनका इस्तेमाल केवल सीधी अवस्था में ही किया जाना चाहिए। इसके साथ ही गैस किट की गुणवत्ता की भी कोई गारंटी नहीं। पेट्रोल के दाम ज्यादा बढ़ गए है, इसलिए यह कालाबाजारी भी बढ़ रही है। लोगों कहना है कि कारों में अवैध रूप से एलपीजी गैस किट लगाने और रसोई गैस सिलेंडरों से इनमें गैस भरने और भरवाने वालों पर कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए।
सीएनजी किट लगाने का गोरखधंधा चरम पर
जनपद में सीएनजी और एलपीजी किट गाड़ियों में लगाने का गोरखधंधा चरम पर हो रहा है। इस गोरखधंधे में आरटीओ विभाग की भी मिली भगत सामने आ रही है। आरटीओ द्वारा जनपद में तीन डीलरों को ये किट लगाने की अनुमति दे रखी है, लेकिन जनपद में 200 से अधिक ऐसे डीलर है।
जो बिना किसी अनुमति के गाड़ियों में किट लगा रहे हैं। जो दूसरों के जीवन से खिलवाड़ कर रहे हैं, लेकिन इन डीलरों के खिलाफ आखिर कार्रवाई क्यो नहीं हो रही है। यह एक सवालिया निशान खड़ा हो रहा है। हालांकि आरटीओ विभाग ऐसे डीलरों के खिलाफ सख्ती बरतने की बात कर रहा है, लेकिन उसके बाद भी इनके दावे सिर्फ हवा में ही दिखाई दे रहे हैं क्योंकि हाइवे से ही सटे कुछ डीलर तो खुलेआम इस काम को करके विभाग को चुनौती देने में लगे हुए हैं।
अचानक आग लगने का खतरा ज्यादा
महानगर में आए दिन गैस किट लगी गाड़ियों में आग लगती रहती है। हाल ही में मोदीपुरम के सीएनजी पंप पर गाड़ी में गैस भरवाते हुए अचानक सिलेंडर लीक हो गया। जिसके चलते सिलेंडर में आग लग गई थी। आग लगते ही हालात गंभीर हो गए थे। हालांकि गनीमत ये रही थी कि गाड़ी पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गई थी, लेकिन कोई हताहत नहीं हुआ था।
अगर आरटीओ विभाग के अधिकारियों की माने तो मेरठ में यूनिक आॅटो, जौहरी आॅटो, एमएसएम आॅटो को किट लगाने की अनुमति है, लेकिन शहर में 200 से भी अधिक ऐसे डीलर है। जो खुलेआम नियमों की धज्जियां उड़ाते हुए किट लगा रहे हैं। जो नियम के बिल्कुल विरुद्ध है। हालांकि आरटीओ डा. विजय कुमार का कहना है कि ऐसे डीलरों को चिह्नित कर उनके खिलाफ कार्रवाई कराई जाएगी।