- शहर में ई-रिक्शा और आटो चालाकों की अराजकता, पुलिस-प्रशासन साधे हैं मौन
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: स्मार्ट सिटी की सड़कों पर इन दिनों बेलगाम दौड़ रही ई-रिक्शा व आटो के ड्राइवर टैÑफिक नियम तोड़ने में अन्य वाहनों के ड्राइवरों की अपेक्षा अव्वल दर्जे की भूमिका निभा रहे हैं। न तो इनको यात्रियों की जान की कोई परवाह है और न ही कानून का कोई डर। नियम-कानून की सरेआम धज्जियां उड़ाते हुए पुलिस-प्रशासन से बेखौफ ई-रिक्शा व आटो ड्राइवर सुबह-सवेरे से देर रात तक स्मार्ट सिटी की सड़कों पर अपनी खूब मनमानी कर रहे हैं। जिसके चलते आमजन मानस को स्मार्ट सिटी में भयकंर जाम
और दुर्घटना जैसी भारी समस्याओं के अलावा अन्य कई गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। उधर, इस बाबत सब कुछ जानने के बावजूद ट्रैफिक पुलिस केवल कुछ ई-रिक्शा व आटो का चालान करने की कार्रवाई तक ही सीमित हैं। लोगों को भयंकर जाम और दुर्घटना जैसी अन्य कई गंभीर समस्याओं से निजात दिलाने के लिए प्रशासन की ओर से कोई कड़ी कार्रवाई अमल में नहीं लाई जा रही है।
जी हां! हम बात कर रहे हैं, स्मार्ट सिटी कहलाने वाले मेरठ महानगर की। जहां इन दिनों ई-रिक्शा और आटो ड्राइवर लोगों की मुश्किलों का कारण बन रहे हैं। स्मार्ट सिटी की सड़कों पर ट्रैफिक रूल तोड़ने के मामले में ई-रिक्शा और आटो ड्राइवर अब दूसरे वाहन चालकों को कड़ी टक्कर देते नजर आ रहे हैं। ई-रिक्शा और आटो में यात्रियों को क्षमता से अधिक बैठाकर तेजी और लापरवाही से ड्राइविंग करते हुए उनकी जान जोखिम में डाली जा रही है। जिस तेजी से सड़कों पर ई-रिक्शों और आटो की तादाद बढ़ रही है, उससे कई गुना ज्यादा तेजी से ई-रिक्शा और आटो ड्राइवरों द्वारा ट्रैफिक नियमों के उल्लंघन करने के मामले बढ़ रहे हैं।
उससे भी ज्यादा चिंता की बात यह है कि ई-रिक्शा और आटो ड्राइवरों की गलतियों के कारण होने वाले सड़क दुर्घटनाओं के आंकड़ों में भी दिन-प्रतिदिन इजाफा होता चला जा रहा है। उधर ई-रिक्शा और आटो ड्राइवरों के द्वारा किए जा रहे नियमों के उल्लंघन की ट्रैफिक पुलिस अनदेखी कर रही है। सड़कों पर चलने के लिए अनुशासन और ट्रैफिक नियमों का पालन कराने जैसी बातों पर ट्रैफिक पुलिस का कोई ध्यान नहीं है। जिसके चलते ई-रिक्शा व आटो ड्राइवर जमकर अपनी मनमानी कर रहे हैं। उधर जनता इनकी वजह से बेहद परेशान है।
खुलेआम हो रही अनाधिकृत पार्किंग
पुलिस-प्रशासन के ढुलमुल रवैये के कारण स्मार्ट सिटी की सड़कों पर खुलेआम ई-रिक्शा और आटो की अनाधिकृत पार्किं ग की जा रही है। अनधिकृत पार्किंग की वजह से लोगों की आवाजाही के बाधित होने की काफी शिकायतें ट्रैफिक पुलिस को मिल रही हैं। बावजूद इसके ट्रफिक पुलिस इनके खिलाफ कोई कड़ी कार्रवाई अमल में नहीं ला पा रही है। जिससे कि बिगडेÞ हालात सुधारे जा सकें।
नहीं होती कोई कार्रवाई
जहां एक ओर ई-रिक्शा और आटो ड्राइवर पुलिस-प्रशासन से बेखौफ होकर ट्रैफिक नियमों का जमकर उल्लंघन कर रहे हैं। वहीं दूसरी ओर स्मार्ट सिटी की सड़कों पर अवैध रुप से संचालित की जा रही ई-रिक्शा और आटो की भी भरमार है। न तो इन ई-रिक्शा और आटो पर नम्बर प्लेट लगी है और न ही इनका रजिस्ट्रेशन कराया गया है। ऐसे में जब उक्त अवैध ई-रिक्शा और आटो से किसी के साथ कोई अप्रिय घटना घतती है तो वह ई-रिक्शा या आटो का नम्बर तक नोट नहीं कर सकता, लेकिन पुलिस-प्रशासन द्वारा इन अवैध ई-रिक्शा और आटो के खिलाफ कोई ठोस कार्रवाई अमल में नहीं लाई जा रही है।
खतरे के तीन पहिए कहिए जनाब !
ई-रिक्शा और आटो की बढ़ती तादात और टूटते नियम-कानून पर जब स्मार्ट सिटी की सड़कों पर राहगीरों से बातचीत की गई तो अधिकांश राहगीरों ने कहा कि ई-रिक्शा और आटो चालक तेजी और लापरवाही से ड्राइविंग करते हैं। जिसके कारण दुर्घटनाएं भी हो रही हैं। ड्राइवर तीन-तीन ई-रिक्शा और आटो को सड़क पर बराबर-बराबर चलाते हैं।
जिसके चलते अधिकांश रूप से जाम की स्थिति पैदा हो जाती है। कई बार ई-रिक्शा और आटो के ड्राइवर पहले तो बाइक, कार आदि में जोरदार टक्कर मारते हैं। उसके बाद अभद्र व्यवहार भी करते हैं। वहीं एक राहगीर का कहना था कि इन्हें ई-रिक्शा या आटो नहीं खतरे के तीन पहिए कहिए जनाब। इस दौरान रामकुमार, सतीश, अमित, राजेश आदि राहगीरों ने जानकारी दी।
तेज आवाज में बजाते हैं अश्लील गाने
स्मार्ट सिटी में बेलगाम दौड़ लगा रहे ई-रिक्शा और आटो के अधिकांश ड्राइवरों द्वारा साउंड सिस्टम से अश्लील भोजपुरी व हरियाणवी गाने बजाएं जा रहे हैं। जिन्हें सुनकर अधिकांश युवा तो काफी खुश हो रहे हैं, लेकिन छात्रा व महिला यात्रियों को शर्म से अपना मुंह छिपाना पड़ रहा है। कई महिला यात्रियों द्वारा इसका विरोध भी किया जा रहा है, लेकिन विरोध के बावजूद ड्राइवर गाने को बंद नहीं कर रहे हैं।
चालक महिलाओं, युवती से करते हैं अभद्रता
ई-रिक्शा और आटो चालक जब सड़क पर यात्रियों के इंतजार में खड़े होकर आवाज लगाते हैं तो इस दौरान जब कोई महिला या स्कूल की छात्रा ई-रिक्शा या आटो में बैठने के लिए आती है तो अधिकांश ड्राइवरों द्वारा उनके कंधे के समीप बाजू या पीठ पर टच करके वाहन में बैठने को कहा जाता है। इस बात का महिलाएं व छात्राएं भारी विरोध कर रही हैं, लेकिन ई-रिक्शा व आटो चालक अपनी हरकतों से बाज नहीं आ रहे हैं।
ई-रिक्शा और आटो चालकों द्वारा जहां पर भी यातायात के नियमों का उल्लंघन किया जा रहा है, वहां पर ट्रैफिक पुलिस द्वारा उनका चालान करने की कार्रवाई अमल में लाई जाई जा रही है। -जितेन्द्र श्रीवास्तव, एसपी ट्रैफिक, मेरठ