जनवाणी ब्यूरो |
नई दिल्ली: 15 अगस्त स्वतंत्रता दिवस से ठीक पहले भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) द्वारा EOS-03 उपग्रह का प्रक्षेपण नाकाम रहा। इससे इस मिशन को झटका लगा है। इंजन में खराबी के कारण इसरो का महत्वाकांक्षी मिशन पूरा नहीं हो सका।
GSLV-F10 launch took place today at 0543 Hrs IST as scheduled. Performance of first and second stages was normal. However, Cryogenic Upper Stage ignition did not happen due to technical anomaly. The mission couldn't be accomplished as intended: ISRO
— ANI (@ANI) August 12, 2021
इसे अंतरिक्ष से धरती की निगरानी करनी थी, इसीलिए इसे भारत की सबसे तेज आंखें भी कहा जा रहा था। लेकिन मिशन अधूरा ही रहा गया। इसरो ने श्रीहरिकोटा स्थित सतीश धवन अंतरिक्ष केंद्र से आज सुबह 5 बजकर 43 मिनट पर जीएसएलवी-एफ 10 के जरिए धरती पर निगरानी रखने वाले उपग्रह EOS-03 का प्रक्षेपण शुरू किया था। पहले दो चरण में ये कामयाबी के साथ आगे बढ़ा, लेकिन तीसरे चरण में इसके क्रायोजेनिक इंजन में खराबी आ गई।
स्पेसप्लाइट नाऊ के मुताबिक, इसरो EOS-03 उपग्रह को कक्षा में स्थापित करने में विफल रहा है। इसरो ने पुष्टि की है कि जीएसएलवी एमके. 2 लॉन्च आज क्रायोजेनिक चरण में देखी गई खराबी के कारण विफल रहा। रिपोर्ट में कहा गया है कि 2017 के बाद से किसी भारतीय अंतरिक्ष प्रक्षेपण में यह पहली विफलता है। इससे पहले इसरो के लगातार 14 मिशन सफल रहे।
GSLV-F10 launch took place today at 0543 Hrs IST as scheduled. Performance of first and second stages was normal. However, Cryogenic Upper Stage ignition did not happen due to technical anomaly. The mission couldn't be accomplished as intended: ISRO
— ANI (@ANI) August 12, 2021
इसरो ने आज सुबह 5.43 बजे सैटेलाइट लॉन्चिंग शुरू की थी। तय समय के अनुसार सभी चरण पूरे होते चले गए। मगर तीसरे चरण में EOS-3 के अलग होने से पहले क्रायोजेनिक इंजन में कुछ तकनीकी खराबी आ गई, जिसकी वजह से इसरो को आंकड़े मिलने बंद हो गए। इसके बाद इसरो प्रमुख ने ऐलान किया कि यह मिशन आंशिक तौर पर विफल हो गया है।
साल का पहला मिशन फरवरी में हुआ था
इससे पहले 28 फरवरी को इसरो ने साल के पहला मिशन को सफलतापूर्वक अंजाम दिया था। भारत का रॉकेट 28 फरवरी को श्रीहरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र से पहली बार ब्राजील का उपग्रह लेकर अंतरिक्ष रवाना हो हुआ था।
ब्राजील के अमेजोनिया-1 और 18 अन्य उपग्रहों को लेकर भारत के पीएसएलवी (ध्रुवीय उपग्रह प्रक्षेपण यान) सी-51 ने श्रीहरिकोटा अंतरिक्ष केंद्र से उड़ान भरी थी। इस अंतरिक्ष यान के शीर्ष पैनल पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर उकेरी गई थी।