- रात में वारदात, थाने को एफआईआर से परहेज चौकी पर ताला
- कप्तान के क्राइम कंट्रोल के प्रयासों पर पानी फेरने पर उतारू है कंकरखेड़ा पुलिस
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: रात में यदि कोई वारदात हो जाए तो कंकरखेड़ा पुलिस ने किसी प्रकार की मदद की उम्मीद कतई ना रखें। सूचना पर बजाए खुद मौके पर पहुंचने के कंकरखेड़ा पुलिस सूचना देने वाले के खुद थाने पर पहुंचने के बाद भी यदि रात का वक्त है तो एक्शन नहीं लेगी। एक्शन तो दूर की बात तहरीर का संज्ञान लेकर मुकदमा तक नहीं लिखेगी और यदि चौकी पर वारदात तो वारदात की सूचना देने की सोचना की गलती करना भी मुनासिब नहीं होगा,
क्योंकि रात के वक्त तो स्टॉफ को चौकी में रुकने की आदत ही नहीं होती। कंकरखेड़ा थाना के रोहटा रोड इलाके की चौकी पर जब भी रात जाएंगे ताला झूलता मिलेगा। इसके पीछे असली वजह मामले दर्ज ना कर अपराधों को कम कर दिखाने का प्रयास है और कुछ नहीं। दरअसल यह बस क्राइम कंट्रोल में नाकामी पर पर्दा डालना सरीखा है।
दरअसल, हुआ यूं कि शनिवार की देर रात हथियारों से लैस करीब आधा दर्जन बदमाशों ने कंकरखेड़ा के रोहटा रोड स्थिति एक प्रतिष्ठान पर धावा बोला। हालांकि प्रतिष्ठान का मजबूत मेनगेट बंद था। उसके बावजूद इन बदमाशों ने अनाधिकृत रूप से भीतर घुसने की चेष्टा की। गेट फांद कर भीतर घुसने का प्रयास किया। यह बात अलग है कि वो इसमें सफल नहीं हो सके। गेट पर मौजूद सिक्योरिटी गार्ड ने डॉयल 112 पर सूचना दी। सूचना पर डॉयल 112 आ गई। मौके पर पहुंचकर मुआयना किया, लेकिन इससे आगे जो करना चाहिए था वो डॉयल 112 ने नहीं किया।
होना यह चाहिए था कि खुद मौके पर मौजूद रहकर थाना कंकरखेड़ा पुलिस को बुलाते। यह नियम भी है। डॉयल 112 ने सूचना पर आने की केवल रस्म अदायगी भर की। इसके बाद डॉयल 112 वहां से चली गई। प्रतिष्ठान पर मौजूद सिक्योरिटी गार्ड खुद देर रात कंकरखेड़ा थाने पर तहरीर देने जा पहुंचे, लेकिन कंकरखेड़ा पुलिस ने कार्रवाई करना तो दूर रहा सलीके से बात तक नहीं सुनी और इतनी रात थाने पर कुछ नहीं होने वाला बातकर इलाके की चौकी पर जाने की सलाह दे डाली। थाने से सिक्योरिटी गार्ड जब चौकी योगीपुरम पहुंचा तो वहां ताला झूल रहा था।
थाने वालों को रात में एफआईआर से परहेज है और चौकी पर ताला झूल रहा हो, ऐसे में अंदाजा लगाइऐ की फरियादी जाए तो जाए कहां। कंकरखेड़ा जैसे थाना पुलिस का यही रवैया क्राइम कंट्रोल के कप्तान के प्रयासों पर पानी फेरने जैसा है। पुलिस आॅफिस पर आने वाले प्रत्येक फरियादी से कप्तान का मिलना उनकी समस्या सुनना व समाधान भी कराना और कुछ नहीं तो कप्तान से ही लोगों की शिकायत पर काम करना सीख सकते हैं।
छोटी-सी बात पर हाईप्रोफाइल परिवारों में बड़ी रार
नौचंदी थाना के गढ़ रोड स्थित विशाल मेगा मार्ट से शॉपिंग कर बाहर आए हाईप्रोफाइल में शामिल दो परिवारों में बेहद मामूली-सी बात को लेकर जमकर मारपीट हुई। सड़क से शुरू हुई यह मारपीट थाना नौचंदी के अंदर तक जारी रही। दोनों में से कोई भी पीछे हटने को तैयार नहीं था। पुलिस के लिए भी यह सिरदर्द बना रहा। शहर कोतवाली में हैंडलूम कारोबार करने वाले नील कमल रस्तौगी निवासी एसके रोड का परिवार व गढ़ रोड हरवंश विहार के रहने वाले अमित का परिवार मेगा मार्ट में रविवार की शाम को शॉपिंग करने गया था।
दोनों की गाड़ियां मेगा मार्ट के बाहर खड़ी थीं। नील कमल रस्तौगी के परिजन शॉपिग कर बाहर निकल आए। उसी दौरान भारी बारिश शुरू हो गई। हालांकि परिजन गाड़ी में बैठ गए थे, लेकिन उनकी गाड़ी के आगे जो गाड़ी खड़ी थी वह हरबंश विहार निवासी अमित की थी और इतनी जगह नहीं थी कि गाड़ी निकाली जा सके। नील कमल रस्तौगी के परिजनों ने आगे खड़ी गाड़ी में बैठे शख्स से गाड़ी आगे बढ़ाने को कहा, लेकिन बारिश व टैÑफिक के शोर में वह कुछ सुन नहीं पाया और शीशा चढ़ा लिया।
परिवार का एक सदस्य उतरकर गाड़ी तक पहुंचा। उसने गाड़ी आगे करने को कहा। वहां कहासुनी हो गई। इस बीच अमित का परिवार भी शॉपिंग के बाद बाहर आ गया। उनके बाहर आने के बाद वहां फसाद बढ़ गया। दोनों परिवारों के पुरूष सदस्य भिड़ गए। उन्हें भिड़ते देख महिलाएं भी एक दूसरे पर टूट पड़ीं। वहां तमाश खड़ा हो गया। करीब एक घंटे तक दोनों के बीच यह सब हुआ। इस बीच नील कमल रस्तौगी ने सूचना दी
तो भाजपा नेता व खंदक के हैंडलूम वस्त्र व्यापार संघ के प्रधान अंकुर गोयल, शंभू पहलवान, कपिल अग्रवाल, लोकेश शर्मा समेत दर्जन भर से ज्यादा लोग वहां पहुंच गए। उन्होंने भी मामले को शांत करने का प्रयास किया लेकिन बात नहीं बनी। यह झगड़ा थाना नौचंदी तक जा पहुंचा। अंकुर गोयल ने वहां समझौते की पहल की, लेकिन अमित पक्ष समझौते को राजी नहीं था। इतना ही नहीं थाने में भी खूब हंगामा हुआ। बाद में मुश्किल से किसी प्रकार पुलिस ने दोनों पक्षों को समझा-बुझाकर समझौते के लिए राजी किया।