- सिर्फ दो ट्रेनें ही निकल रही मेरठ से
- स्टेशन के पास व्यापार करने वाले लोगों के सामने आर्थिक समस्या
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: कभी जिनके घरों में रेल की रफ्तार से रोजी रोटी चलती थी, आज रेल के पहिये रुकने से उन्हीं के घरों में आर्थिक संकट उत्पन्न हो गया है।
जी हां! हम बात कर रहे हैं रेलवे स्टेशन पर व्यापार करने वाले व्यापारियों की। कोविड-19 संक्रमण के कारण लगे लॉकडाउन से ही रेलवे की रौनक गायब हो चुकी है।
जहां हर रोज हजारों की संख्या में यात्री सिटी स्टेशन से सफर करते थे, वहीं अब स्टेशन सूना दिखाई दे रहा है। जिसका सबसे ज्यादा असर रेलवे स्टेशन पर व्यापार करने वाले लोगों की जिंदगी पर देखा जा रहा है।
क्योंकि रेल यात्रियों के आने से उनकी रोजी की आस जगती थी, लेकिन अब यात्रियों के न होने से व्यापार बिल्कुल न के बराबर हो गया है।
रेल के संचालन से ही ढर्रे पर आएगी जिंदगी
रेलवे स्टेशन के पास व्यापार कर रहे लोगों की जिंदगी रेल के संचालन से अब ढर्रे पर वापस आएगी। इन व्यापारियों का पूरा व्यापार ही रेल यात्रियों पर टिका हुआ है।
ऐसे में जब तक रेल का संचालन शुरु नहीं होगा, तब तक व्यापारियों की आर्थिक स्थिति में उभार आना संभव नहीं है। दरअसल, रेलवे स्टेशन के पास छोटे ढाबे, रेस्टोरेंट, आराम घर, साइकिल स्टैंड, टी स्टॉल समेत ट्रेवल्स की दुकानें हैं। जिनका गुजारा यात्रियों के आवागमन पर ही टिका हुआ है।

रेल ने चलने के कारण व्यापारियों का बहुत बुरा हाल है। दिन भर बैठने के बाद दाल रोटी का गुजारा करना भी बेहद बड़ी बात है।
-विनीत जिंदल, प्रधान रेलवे स्टेशन मार्केट

ट्रेन के न चलने से यात्रियों का आवागमन बिल्कुल नहीं है। इसी कारण काम बिल्कुल ही ठप है। जल्द से जल्द रेल चलें तभी कुछ काम चलेगा।
-राहुल जिंदल

अभी यहां से केवल दो ही ट्रेनें चल रही हैं। ऐसे में यात्रियों की संख्या न के बराबर ही है। सभी काम काज ऐसे में बंद ही पड़ा है। ट्रेनों की संख्या बढ़ेगी तभी कुछ हो सकेगा। -अंकित