- ग्रामीणों का विरोध, टीम को नहीं मिला कब्जा जेसीबी मशीन समेत बैरंग लौटाया
- किसानों ने कहा, जमीन का मिला मुआवजा, फसलों का दिलाए मुआवजा या दे तीन माह का समय
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ/मवाना: एनएच-119 पर चल रहे सड़क चौड़ीकरण कार्य के साथ चल रही टोल प्लाजा बनाने की प्रक्रिया की शुरूआत पर जमीन को समतल करने के लिए जेसीबी मशीन लेकर पहुंची एनएचएआई टीम को किसानों ने घेर लिया और फसलों की कटाई करने का विरोध जताते हुए टीम का घेराव करते हुए जमकर हंगामा किया।
टीम ने खुद को घिरता देख एसडीएम, तहसीलदार, लेखपाल एवं थाना प्रभारी मयफोर्स के मौके पर पहुंचे और ग्रामीणों से वार्ता की। ग्रामीणों का कहना है कि उनको अभी तक जमीन का मुआवजा मिला है। जबकि भूमि अधिग्रहण करने के बाद ग्रामीणों द्वारा जमीन पर बुआई फसलों का मुआवजा नहीं मिला है।
ग्रामीणों ने एनएचएआई व प्रशासनिक अधिकारियों से सरकार से फसलों का मुआवजा दिलाने या फिर फसल काटने के लिए तीन महीने का समय मांगा है। एनएचएआई टीम अधिकारियों ने समय देने से इनकार करते हुए एक साल पहले ग्रामीणों को भूमि अधिग्रहण का मुआवजा देने की बात कही है।
एसडीएम ने किसानों को उनकी फसलों को काटने के लिए एक हफ्ते का समय देने पर मामला शांत कर दिया। घंटों तक चले हंगामे के बाद प्रशासनिक अधिकारियों द्वारा आश्वासन मिलने के बाद निशानदेही स्थानों पर कार्य करने पर सहमति बनी।
मवाना-मेरठ पौड़ी हाइवे पर एनएचएआई टीम द्वारा चल रहे सड़क चौड़ीकरण का कार्य को लेकर ग्रामीण अपने घरों पर हथौड़ा चलाते दिख रहे हैं तो वहीं भैंसा गांव के समीप बनने वाले टोल प्लाजा की तैयारी की भी शुरूआत कर दी है।
बुधवार को जेसीबी मशीन ओर टीम को लेकर हाइवे स्थित गांव भैंसा में पहुंची टीम द्वारा किसानों की फसलों को काटने की तैयारी कर रही टीम को ग्रामीणों ने रोक दिया और विरोध करते हुए एनएचएआई टीम अधिकारियों को घेर कर हंगामा शुरू कर दिया।
टीम द्वारा कब्जा करने पर सैकड़ों की संख्या में ग्रामीण मौके पर पहुंचे और किसान अमरदीप चौधरी, ग्राम प्रधान विलियम सिंह व बबलू के नेतृत्व में हंगामा कर फसलों का मुआवजा दिलाने या फिर फसल काटने के लिए तीन महीने का समय मांगते हुए हंगामा कर दिया।
हंगामा बढ़ता देख टीम ने एसडीएम कमलेश कुमार गोयल को अवगत कराया। सूचना मिलने के बाद थाना प्रभारी प्रेमचंद शर्मा, एसडीएम कमलेश कुमार गोयल, तहसीलदार अजय कुमार के साथ लेखपाल मोके पर पहुंचे और ग्रामीणों से जानकारी ली। घंटों तक चले हंगामे और बातचीत के बाद कोई समाधान नहीं निकला।
इस दौरान एसडीएम कमलेश कुमार ने एनएचएआई टीम अधिकारी वरुण कुमार, राहुल कुमार से बातचीत की। बातचीत करने पर एसडीएम कमलेश कुमार ने ग्रामीणों से बातचीत कर सहयोग करने की बात कही। ग्रामीणों का कहना है कि सरकार द्वारा मात्र जमीन अधिग्रहण का मुआवजा ही मिला है।
जबकि लाखों की लागत से तैयार की गयी फसलों का मुआवजा नहीं मिला है। ग्रामीणों ने एनएचएआई द्वारा फसलों का मुआवजा दिलाने या फिर फसल काटने के लिए तीन माह का समय दिये जाने की बात रखी। भैंसा में बनने वाले टोल प्लाजा की तैयारी के लिए हंगामे के बाद बुधवार को टीम कर्मचारियों द्वारा जमीन की पैमाइश की गयी। एनएचएआई के मैनेजर राहुल कुमार ने ग्रामीणों को समझाते हुए कहा कि ग्रामीणों को जमीन का सर्किल रेट का मुआवजा दिया जा चुका है।
खड़ी फसलों का कोई मुआवजा सरकार द्वारा जारी नहीं किया जाएगा। ग्रामीणों ने आलाधिकारियों से निस्तारण कराने को लेकर एक प्रतिनिधिमंडल डीएम के. बालाजी से मिलेगा। फिलहाल एनएचएआई टीम को किसानों का विरोध झेलने के बाद बिना कब्जा किये बैरंग लौटना पड़ा।