- बेखौफ होकर किया जा रहा है अवैध मिट्टी खनन
- सड़कों पर फैली मिट्टी से उड़ती है धूल, लोग हो रहे अस्थमा के रोगी
जनवाणी संवाददाता |
फलावदा: खनन माफिया धरती का सीना छलनी कर रहे हैं। समीपवर्ती गांव गुडंब में दिनदहाड़े खनन हो रहा है। खुलेआम खनन माफिया ट्रैक्टर-ट्रॉलियों से खनन सामग्री ढो रहे हैं। अवैध खनन का खुला खेल पुलिस प्रशासन की आंखों के सामने हो रहा है। लेकिन, प्रशासन का दावा है कि खनन नहीं हो रहा है। वैध खनन पर भले ही रोक लगी हो, लेकिन अवैध खनन धड़ल्ले से चल रहा है।
बेखौफ खनन माफिया समीपवर्ती गांव गुडंब को निशाना बनाया है। ज्यादातर मामलों में खनन माफिया रात के अंधेरे में अवैध खनन को अंजाम देते हैं। लेकिन, समीपवर्ती गांव गुडंब में दिन के समय भी खनन बदस्तूर जारी है। खनन माफिया ट्रैक्टर-ट्रॉलियों और बुग्गियों से खनन सामग्री ढोकर ले जा रहे हैं। खनन का खुला पुलिस प्रशासन की आंखों के सामने हो रहा है। लेकिन, खनन माफिया को रोकने की किसी ने जहमत नहीं उठाई।
शासन के आदेश निर्देश भले ही कुछ भी हो, लेकिन सरकार की नीति को पलीता लगाने के लिए खुद सरकारी नुमाइंदे ही काफी है। सरकारी तंत्र ही नियम कायदों को ठेंगा दिखा रहे हैं। खनन माफिया रात के अंधेरे में अवैध खनन करते आ रहे थे, लेकिन अब वे दिन के उजाले में भी धरती का सीना चीर कर मिट्टी का खनन कर रहे हैं।
पुलिस व खनन विभाग बेखबर बन रहा है। माफियाओ की दबंगई के आगे शासन के आदेश बेमानी साबित हो रहे हैं। सरकार ने अवैध खनन पर पाबंदी लगा रखी है। इसके बावजूद फलावदा में खनन पर पाबंदी लागू नहीं हो पा रही है। समीपवर्ती गांव गुडंब में निरंतर खनन का कार्य चल रहा है। सरकारी नुमाइंदों व माफियाओं के गठजोड़ के चलते खनन माफिया बेखौफ होकर धरती का सीना छलनी कर अवैध खनन का धंधा सुचारु रूप से चला रहे हैं।
मामला खनन विभाग के अधीन बताकर पुलिस भी इस अवैध धंधे को लेकर अपनी आंखें मूंदे हुए हैं। आलम यह है कि सूर्यास्त होती सक्रिय होने वाले खनन माफिया अब दिन भर जेसीबी ट्रैक्टर-ट्रॉली लेकर सक्रिय हो रहे हैं। आधा दर्जन से अधिक ट्रैक्टर-ट्रॉलियां खनन करके मिट्टी सप्लाई कर रही हैं। यह सिलसिला बेरोकटोक चल रहा है।
पुलिस चौकी के सामने से गुजरते हैं बेखौफ
पुलिस चौकी के सामने से मिट्टी से भरी ट्रैक्टर-ट्रॉली रात भर बेखौफ होकर फर्राटा भरती है। पुलिस उन्हें पकड़ने की जहमत नहीं उठाती। जिम्मेदार लोगों का कहना है कि दिनभर मिट्टी से भरे वाहन गुजरने से नगर के प्रमुख मार्ग छतिग्रस्त होने लगे हैं। प्रदूषण में भी इजाफा हो रहा है।
स्थानीय नगर पंचायत द्वारा सड़कों पर प्रतिदिन सफाई कार्य कराई जाती है। सड़क पर दौड़ने वाली मिट्टी से भरी ट्रैक्टर-ट्रॉली सफाई कर्मियों की मेहनत पर पल भर में पानी फेर देती है। अवैध खनन की मिट्टी गिरने के कारण सफाई प्रभावित हो रही है। ट्रॉली से गिरने वाली मिट्टी सड़कों का स्वरूप बदल रही है। वहीं, दूसरी ओर अवैध खनन के कारण धूल मिट्टी उड़ने से लोग अस्थमा जैसे रोगों की चपेट में आने लगे हैं।
जेसीबी से सरेआम हो रहा मिट्टी का अवैध खनन
समीपवर्ती गांव गुडंब में मिट्टी खनन माफिया द्वारा दिनदहाड़े जेसीबी मशीन से मिट्टी का खनन किया जा रहा है। जिससे राजस्व विभाग को लाखों की क्षति हो रही है। ग्रामीणों का आरोप है कि क्षेत्र का एक खनन माफिया पुलिस की मिलीभगत से खनन कराता है। जिले में अवैध खनन पूरी तरह से प्रतिबंधित है।
यह दावा प्रशासन का है, लेकिन हकीकत इससे ठीक विपरीत है। शायद ही कोई ऐसा तहसील क्षेत्र हो जहां अवैध खनन धड़ल्ले से न चल रहा हो। मजे की बात है कि सबसे अधिक अवैध खनन फलावदा थाना क्षेत्र में हो रहा है। जहां दिन-रात टैÑक्टर-ट्रॉली और डंपर बेखौफ दौड़ते हैं और जिम्मेदार लोग देखकर भी मुंह फेर लेते हैं। यदि कोई शिकायत भी करता है तो छोटो की कौन कहे बड़े प्रशासनिक अधिकारी तक यह कहते हुए किनारा कर लेते हैं कि ऐसा कोई मामला मेरी जानकारी में नहीं है।
दिन-रात होता है मिट्टी खनन
नेताओं की मनमानी और पुलिस की साठगांठ से जिले में अवैध खनन फिर जोर पकड़ गया है। खनन माफियाओं के हौसले दिनों दिन बढ़ रहे हैं। खनन विभाग मूकदर्शक बनकर यह सब देख रहा है। खनन माफिया की दबंगाई ऐसी है कि यह लोग दिन-रात मिट्टी की खुदाई कर आसपास के क्षेत्रों में बेखौफ डाल रहे हैं। धड़ल्ले से चल रहे अवैध खनन की प्रशासन को खबर तक नहीं है। ऐसे में प्रशासन की भूमिका संदिग्ध बताई जा रही है।