Wednesday, July 3, 2024
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आखिर किसकी शह पर चल रहे अवैध नर्सिंग होम?

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  • मरीजों के जीवन से खूब हो रहा खिलवाड़, घरों में बना डाले सैकड़ों नर्सिंग होम

जनवाणी संवाददाता |

मेरठ: जिले में सैकड़ों नर्सिंग होम अवैध रूप से संचलित हो रहे हैं। बड़ी संख्या में नर्सिंग होम घरों में संचालित किए जा रहे हैं। इनमें सुविधाओं का टोटा होने के साथ-साथ नर्सिंग होमों में मरीजों के जीवन से खूब खिलवाड़ किया जाता है। इनमें अग्निशमन की भी कोई व्यवस्था नहीं होती। शिकायतों के बावजूद स्वास्थ्य विभाग के अधिकारी इस ओर ध्यान नहीं देते। अब सवाल उठता है कि आखिर किसकी शाह पर अवैध नर्सिंग होम चल रहे हैं? कोई अधिकारी तो जरूर जीवन से खिलवाड़ करने वालों को संरक्षण दे रहा है।

मेरठ वेस्ट यूपी में चिकित्सा सेवाओं को लेकर मशहूर हो रहा है, यहां तीन सरकारी मेडिकल कालेज के साथ-साथ दो प्राइवेट मेडिकल कालेज हैं। इसके अलावा आयुर्वेदिक मेडिकल कालेज भी हैं। सभी बीमारियों के विशेषज्ञ चिकित्सक हैं। बड़ी संख्या में अत्याधुनिक सेवाओं वाले पंजीकृत और वैध नर्सिंग होम है, लेकिन सैकड़ों नर्सिंग होम घरों में संचालित किए जा रहे हैं। न तो इनका नर्सिंग होम का नक्शा मेडा से पास है और न ही इनमें अग्निशमन की कोई व्यवस्था है। महानगर के अलावा कस्बों और गांवों में भी अवैध रूप से नर्सिंग होमों का संचालन किया जा रहा है।

महानगर की कालोनियों से लेकर पुराने शहर में भी छोटे-छोटे नर्सिंग होम अवैध रूप से संचालित किए जा रहे हैं। इनमें झोलाछाप डाक्टरों द्वारा इलाज कराया जाता है। एक दो डाक्टरों को स्पेशल विजिट पर जब कोई मरीज गंभीर हालत में होता है तो बुलाकर दिखा दिया जाता है। उसके बाद छोला छाप डाक्टरों के हाथों मरीज इलाज कराने को मजबूर होता है। इन अवैध नर्सिंग होमों में सुविधाओं का टोटा रहता है। यही वजह है कि अक्सर अवैध नर्सिंग होमों में मरीजों की इलाज में लापरवाही के चलते मौत के मामले सामने आते हैं।

खास बात ये है कि अवैध नर्सिंग होमों के की शिकायतें स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों से की जाती हैं, लेकिन अधिकारी लीपापोती कर देते हैं। यदि किसी के खिलाफ सील कर कार्रवाई की जाती है, तो वे शपथ पत्र देकर उक्त नर्सिंग होम को बंद करने आग्रह कर उक्त नर्सिंग होम को दूसरे नाम से शुरू कर देते हैं। इन नर्सिंग होम में इलाज के नाम पर मोटी रकम वसूली जाती है।

इन क्षेत्रों में हैं अवैध नर्सिंग होम

हापुड़ रोड पर, आरटीओ के आसपास, किला रोड, गढ़ रोड, लिसाड़ी रोड, तारापुरी, श्यामनगर, शास्त्रीनगर, पल्लवपुरम, कंकरखेड़ा, श्रद्धापुरी, बागपत रोड, रोहटा रोड, सरधना रोड, दौराला, मवाना, सरधना, किठौर, परीक्षितगढ़ आदि क्षेत्रों में बड़ी संख्या में संचालित हो रहे अवैध नर्सिंग होम।

डीएम ने दिए अपंजीकृत नर्सिंग होम व डाक्टरों की जांच के आदेश

मुख्यमंत्री और प्रशासन से की गई शिकायतों को डीएम ने गंभीरता से लिया है। डीएम ने शहरी क्षेत्र में एसीएम, चिकित्त्सा अधीक्षक और संबंधित थाने की देखरेख में जांच अभियान चलाने के आदेश दिए हैं, जबकि ग्रामीण क्षेत्रों में तहसील के संबंधित एसडीएम और सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र के चिकित्साधिकारियों और पुलिस की मदद से जांच कराने के आदेश दिए।

अपंजीकृत नर्सिंग होमों की गई कार्रवाई: सीएमओ

मुख्य चिकित्साधिकारी डा. अखिलेश मोहन का कहना है कि समय-समय पर अपंजीकृत नर्सिंग होम या अपंजीकृत डाक्टरों की जांच कराकर कार्रवाई की जाती है। कई नर्सिंग होम को सील किया गया। डीएम के आदेशों का पालन कराया जाएगा। अपंजीकृत नर्सिंग होम या अपंजीकृत चिकित्सकों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।

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