- 3.40 लाख शहरी उपभोक्ताओं में से 1.20 लाख के यहां लगे मीटर
- जून माह से कंपनी के अभियान की युद्ध स्तर पर की जाएगी शुरुआत
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: उपभोक्ताओं द्वारा लगाए जा रहे जंप व अनाप-शनाप बिलों के आरोपों को पीवीवीएनएल ने एक सिरे से खारिज कर दिया। अधिकारियों ने दो टूक कहा है कि शहरी क्षेत्र के 3.40 लाख उपभोक्ताओं को अनिवार्य रूप से स्मार्ट मीटर लगवाने होंगे। स्मार्ट मीटरों की जांच करायी जा चुकी है। उनमें किसी प्रकार की तकनीकी खराबी नहीं मिली है। इसकी शुरूआत सरकारी विभागों से की जाएगी।
स्मार्ट मीटर के बिल अधिक आने के तमाम आरोपों को एक सिरे से खारिज का दिया गया है। पीवीवीएनएल प्रशासन ने जून माह से स्मार्ट मीटर लगाने के लिए कार्यदायी कंपनी को अनुमति दे दी है। माना जा रहा है कि स्टॉफ के लोकसभा चुनाव से फारिग हो जाने के बाद शहर में स्मार्ट मीटरों पर काम शुरू कर दिया जाएगा। अनुमान है कि जून के दूसरे सप्ताह में मसलन लोकसभा चुनाव के परिणाम आने के बाद काम शुरू कर दिया जाएगा।
छह हजार कीमत
जो स्मार्ट मीटर उपभोक्ताओं के यहां लगाए जाएंगे, उनकी कीमत लगभग छह हजा रुपए है। पीवीवीएनएल अधिकारियों ने साफ किया है स्मार्ट मीटर की कीमत उपभोक्ता से नहीं वसूली जाएगी। ना ही इसकी कीमत को बिल में जोड़कर भेजा जाएगा। इसलिए उपभोक्ताओं को डरने की जरूरत नहीं, लेकिन हां यह स्पष्ट है कि स्मार्ट मीटर का लगा जाना अब अनिवार्य है। इसके लिए उपभोक्ता तैयार नहीं और सहयोग करें। क्योंकि इससे बचना संभवत नहीं।
उपभोक्ता हित का दावा
पीवीवीएनएल प्रशासन के उच्च पदस्थ का कहना है कि स्मार्ट मीटरों को लगाने के पीछे उपभोक्ता हितों को सुरक्षित रखना है। उनको आए दिन की परेशानियों से बचाना है। उपभोक्ता बिल संबंधित जिन कामों के लिए बिजली दफ्तर के आए दिन चक्कर काटा करते थे उनसे भी मुक्ति मिल जाएगी। बिल सीधा आॅनलाइन मोबाइल पर ही अपलोड हो जाएगा।
- स्मार्ट होंगे उपभोक्ता
स्मार्ट मीटर लगाने से उपभोक्ता भी स्मार्ट होंगे। उन्हें अब बिजली मीटर संबंधी समस्याओं के लिए परेशान नहीं होना पडेÞगा। -धीरज सिन्हा, चीफ (अरबन)