- महिला काव्य मंच की हुयी ऑनलाइन काव्य गोष्ठी
जनवाणी संवाददाता |
नजीबाबाद: महिला काव्य मंच बिजनौर इकाई की काव्य संगोष्ठी के ऑनलाइन कार्यक्रम में रचनाकारों ने अपनी रचनाओं से सबका मन जीत लिया। गोष्ठी के प्रारम्भ में सरस्वती वंदना नीमा शर्मा ने की और मां शारदे को नमन किया। इसके बाद मंजू जौहरी मधुर ने कहा कि ये हवा कैसी पश्चिम की लहरा रही।
सभ्यता देश की डूबती जा रही। रचना शास्त्री ने कहा कि मनमोहना! किसी सुग्गे सा बदन में पालकर रखा है। बचाया सबसे अब तक संभालकर रखा है। नीमा शर्मा ने कहा कि बड़ा ही प्यारा था मेरा गांव नीम पीपल बरगद की छांव। सुमन वर्मा ने कहा कि माया का भ्रम हावी रे, जीवन कितना बाकी रे।
फूल माला ने कहा कि बेटी हूं मैं मुझे मत मारो। दामिनी कालरा ने कहा लगी हाथ इक कोरी डायरी आज सोचा ऊकेरूं अपने कुछ विचार। कार्यक्रम के अंत में महिला काव्य मंच की अध्यक्ष मंजू जौहरी मधुर ने कहा कि आज़ जो वातावरण हमारे समाज में फैला हुआ है उसके जिम्मेदारी कहीं न कहीं हम सभी बहनों पर है। अगर मां अपने बच्चों को अच्छे संस्कार देगी तो समाज में फैली बुराइयां अवश्य दूर होंगी। तथा सभी का आभार व्यक्त किया। मंजू जौहरी मधुर ने अध्यक्षता की एवं रचना शास्त्री ने संचालन किया।