जनवाणी ब्यूरो |
नई दिल्ली: भारत में कोविड महामारी का विकराल रूप एक बार फिर देखने को मिल सकता है। नीति आयोग ने कोरोना की तीसरी लहर को लेकर चेतावनी जारी की है। आयोग ने आशंका जताई है कि सितंबर में 4 से 5 लाख कोरोना केस रोजाना आ सकते हैं।
हर 100 कोरोना मामलों में से 23 मामलों को अस्पताल में भर्ती कराने की व्यवस्था करनी पड़ सकती है। ऐसे में पहले से ही दो लाख आईसीयू बैड्स तैयार रखने की जरूरत है।
नीति आयोग ने कोरोना की दूसरी लहर के बाद बड़ी संख्या में अस्पताल में कोविड बेड अलग रखने की सिफारिश की है। आयोग का कहना है कि खराब हालात से निपटने के लिए पहले से तैयार रहना होगा। सितंबर तक दो लाख आईसीयू बेड तैयार किए जाने चाहिए।
इसके अलावा 1.2 लाख वेंटिलेटर वाले आईसीयू बेड, 7 लाख ऑक्सीजन वाले बेड और 10 लाख कोविड आइसोलेशन केयर बेड होने चाहिए।
नीति आयोग ने इससे पहले सितंबर 2020 में भी कोरोना की दूसरी लहर का अनुमान लगाया था। तब नीति आयोग ने 100 संक्रमितों में से गंभीर कोविड लक्षणों वाले लगभग 20 मरीजों को अस्पताल में भर्ती होने की आवश्यकता बताई गई थी, लेकिन इस बार अनुमान पिछली बार से अधिक है।
भारत में कोरोना संकट की मौजूदी स्थिति
भारत में लगातार 56 दिनों से 50,000 से कम दैनिक मामले सामने आ रहे हैं। रविवार को स्वास्थ्य मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार, कोरोना के कुल 30,948 नए मामले सामने आए और 403 मौत हो गईं। कोविड के कारण मरने वालों की कुल संख्या 4 लाख 34 हजार 367 हो गई है।
भारत में कोविड संक्रमण से ठीक होने की दर बढ़कर 97.57 फीसदी हो गई है, जो मार्च 2020 के बाद सबसे अधिक है। स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के अनुसार, सक्रिय केस लोड कुल मामलों का 1.09 फीसदी है, जो मार्च 2020 के बाद सबसे कम है। भारत में अब तक ठीक होने वालों की कुल संख्या 3,16,36,469 हो गई है। पिछले 58 दिनों से साप्ताहिक सकारात्मकता दर 3 प्रतिशत से नीचे बनी हुई है और वर्तमान में 2.0 प्रतिशत है।