- पहले दबाव बनाने के लिए लगाई जाती थी गैंगस्टर, अब एक अपराध में नाम आते ही गैंगस्टर की कार्रवाई
- शहर पुलिस ने सोतीगंज के कबाड़ियों पर शिकंजा कसना किया शुरू
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ:पहले किसी भी वारदात में एक से अधिक बदमाशों के होने और लगातार कई वारदातों को अंजाम देने के बाद ही गैंगस्टर की कार्रवाई की जाती थी। जिससे बदमाशों पर अधिक दबाव बनाया जा सकें। गैंगस्टर में प्रावधान होने के बाद शहर पुलिस ने सोतीगंज के कबाड़ियों पर शिकंजा कसना शुरू कर दिया।
इसी के साथ गैंगस्टर के तहत कबाड़ियों की संपत्ति को भी जब्त किया जा रहा है। जिसके चलते अब तक कबाड़ियों की 55 करोड़ से ज्यादा की संपत्ति कुर्क की जा चुकी है।
गौरतलब है कि वर्ष 2021 में गैंगस्टर एक्ट लगाने को लेकर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने अहम फैसला सुनाया था। हाईकोर्ट ने कहा कि एक केस पर भी गैंगस्टर एक्ट के तहत एफआईआर दर्ज कराई जा सकती है। इसी के साथ हाईकोर्ट ने इससे संबंधित एक दर्जन से याचिकाओं को भी खारिज कर दिया था।
वहीं, सरकार के आदेश के बाद एसएसपी प्रभाकर चौधरी ने सोतीगंज के कबाड़ियों पर शिकंजा कसना शुरू किया और एक-एक कबाड़ी को चिन्ह्ति कर उनके खिलाफ गैंगस्टर की कार्रवाई शुरू की गई। इसी के साथ कुछ कबाड़ियों की हिस्ट्रीशीट खोलकर उनके खिलाफ भी कार्रवाई की गई।
जिसके तहत पुलिस अब तक कबाड़ियों की 55 करोड़ से अधिक की संपत्ति को जब्त कर चुकी है। जिसमें सबसे अधिक हाजी गल्ला की संपत्ति है। वहीं, 70 से अधिक कबाड़ियों के खिलाफ कार्रवाई की जा चुकी है। अब हालात ऐसे है कि कबाड़ियों ने अपने पुराने काम छोड़कर जूते-चप्पल, कपड़े और ढ़ाबे आदि खोलने शुरू कर दिए है।
हालांकि सोतीगंज में पुलिस की कार्रवाई अभी बंद नहीं हुई। पुलिस अब हाजी इकबाल की करीब 20 करोड़ की संपत्ति को जब्त करने की तैयारी कर रही है। जिसके लिए पुलिस ने पूरी तैयारी कर ली है और जल्द ही संपत्ति जब्त करने की कार्रवाई को अंजाम दिया जाएगा।
संपत्ति जब्त करने की कार्रवाई से कबाड़ियों में खौफ
पुलिस द्वारा अवैध रूप से कमाई गई संपत्ति को जब्त करने की कार्रवाई को लेकर कबाड़ियों में खौफ बना हुआ है। कबाड़ियों में खौफ इस कदर बढ़ चुका है कि अधिकांश कबाड़ियों ने अपना पुराना काम छोड़कर अब नया बिजनेश शुरू करने लगे है।
हालांकि पुलिस प्रशासन भी ऐसे कबाड़ियों की मदद कर रहा है जो अपना कबाड़ी का कारोबार छोड़कर नया बिजनेश शुरू कर रहा है। इसके लिए पुलिस अधिकारियों ने सदर थाने में कबाड़ियों को लोन दिलाने के लिए कैंप भी लगवाया था।
पहले एक से अधिक अपराध पर थी गैंगस्टर की कार्रवाई
पुरानी व्यवस्था में कितनी भी गंभीर धारा हो, गैंगस्टर की कार्रवाई करने के लिए एक से अधिक केस का होना अनिवार्य था। यही नहीं अब डीएम की अनुमति से इन अपराधों में शामिल नाबालिग पर भी गैंगेस्टर की कार्रवाई हो सकेगी।
इसी के साथ यदि गैंग चार्ट में नाम नहीं है और विवेचना के दौरान यह बात सामने आती है कि वह अपराध में शामिल है और उसका किसी तरह का भी सहयोग रहा है तो डीएम की अनुमति से उसका नाम भी गैंगस्टर में जोड़कर चार्जशीट दाखिल की जा सकती है और यदि किसी पर गैंगस्टर के तहत कार्रवाई गलती से कर दी गई है तो विवेचना के दौरान डीएम उसे वापस ले सकेंगे।