जनवाणी ब्यूरो |
नई दिल्ली: अनुसूचित जाति एवं जनजाति दशमोत्तर छात्रवृत्ति घोटाले के मामले में तत्कालीन जिला समाज कल्याण अधिकारी दीपराज अग्निहोत्री पर भी एसआईटी ने शिकंजा कसना शुरू कर दिया है। मंगलवार को एसआईटी ने पूछताछ के लिए पेश होने संबंधी नोटिस उनके घर पर चस्पा किया है।
हरिद्वार के तत्कालीन जिला समाज कल्याण अधिकारी व कनखल के त्रिलोकनगर निवासी दीपराज अग्निहोत्री पर पांच शैक्षणिक संस्थानों भगवानपुर के कृष्णा इंडस्ट्रीयल ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट, कलियर के भारती प्राइवेट आईटीआई, सिडकुल के बीएलएस इंस्टीट्यूट, गंगनहर रुड़की के बीआरडी कॉलेज ऑफ मैनेजमेंट व गणपति ग्रुप ऑफ इंस्टीट्यूशन बिलासपुर (यमुनानगर) हरियाणा को बिना सत्यापन कराए एक करोड़ 78 लाख, 21 हजार 188 रुपये की छात्रवृत्ति आवंटित करने का आरोप है।
एसआईटी ने जांच में पाया कि कथित छात्रों के नाम भी गलत हैं। एसआईटी ने अधिकारी के खिलाफ भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम की धारा बढ़ा दी है। निरीक्षक देवेंद्र सिंह, निरीक्षक मुकेश चौहान और निरीक्षक राजेंद्र सिंह बिष्ट ने उन्हें अपना पक्ष प्रस्तुत करने के लिए कई बार बुलाया, लेकिन वह पेश नहीं हुए।
एसआईटी ने पेश न होने पर सेवानिवृत्त अधिकारी दीपराज अग्निहोत्री के निजी मकान पर 12 अक्तूबर को एसआईटी के समक्ष पेश होने के लिए नोटिस चस्पा किया है।
घर में नहीं मिला छात्रवृत्ति घोटाले का आरोपी अफसर टीआर मलेठा
छात्रवृत्ति घोटाले में आरोपी चमोली जिले के प्रभारी समाज कल्याण अधिकारी टीआर मलेठा की गिरफ्तारी के लिए पुलिस ने उनके पैतृक घर हरिशंकर में दबिश दी। लेकिन वे घर पर नहीं मिले।
वर्ष 2015-16 में हरिद्वार में मलेठा के सहायक समाज कल्याण अधिकारी रहते हुए यह घोटाला हुआ था। इसमें वह मुख्य आरोपी भी हैं।
पोखरी थानाध्यक्ष मनोहर भंडारी ने बताया कि टीकाराम मलेठा पर आरोप है कि वर्ष 2015-16 में हरिद्वार में सहायक समाज कल्याण अधिकारी के पद पर रहते हुए उन्होंने सरस्वती प्रोफेशनल डिग्री कालेज जगजीतपुर के 91 कथित छात्रों का फर्जी सत्यापन किया।
इस वजह से कॉलेज में 41 लाख 42 हजार 600 रुपये की छात्रवृत्ति का घोटाला सामने आया था। पिछले वर्ष कनखल थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था। मामले की विवेचना कर रहे निरीक्षक सुंदरम शर्मा ने टीकाराम मलेठा को अपना पक्ष रखने के लिए बुलाया, लेकिन वह उपस्थित नहीं हुए।
इसके बाद उनके निजी आवास खन्ना नगर, ज्वालापुर, हरिद्वार में नोटिस चस्पा कर दिया गया। विवेचना अधिकारी सोमवार को पुलिस फोर्स के साथ उनके पैतृक घर हरिशंकर गांव पहुंचे। लेकिन वे वहां से भी फरार मिले।
टीकाराम मलेठा के घर पर नोटिस चिपका दिया गया है कि वे अगर नोटिस की समयावधि में एसआईटी या पुलिस के समक्ष पूछताछ के लिए प्रस्तुत नहीं होते तो उनके घर की कुर्की का नोटिस निकाला जाएगा।