Wednesday, May 7, 2025
- Advertisement -

रुपये की डुबकी, बढ़ेगी मुश्किलें

  • डॉलर के मुकाबले रुपया रिकॉर्ड गिरा, महंगाई बढ़ेगी, छात्रों को चुकानी होगी ज्यादा कीमत

जनवाणी संवाददाता |

मेरठ: डॉलर के मुकाबले रुपया लगातार गिरने से जहां महंगाई पर लगाम लगनी मुश्किल हो जाएगी। वहीं विदेशों में पढ़ने वाले छात्रों को मुश्किलोंं का सामना करना पड़ेगा। भारतीय मुद्रा कमजोर होने से आम जनता पर सीधा असर डालेगा, क्योंकि आयात पर खर्च बढ़ने से देश में महंगाई बढ़ने का खतरा बढ़ रहा है। डॉलर के मुकाबले रुपया रिकॉर्ड निचले स्तर पर पहुंचा, 89 पैसे कमजोर होकर 80.98 पर बंद हुआ।

इस साल डॉलर के मुकाबले रुपया करीब 10 फीसदी टूटा है। दो हफ्ते में रुपया करीब 1.55 पैसे कमजोर हुआ है। भारतीय रुपया गुरुवार को खुले में अमेरिकी डॉलर के मुकाबले अपने सर्वकालिक निचले स्तर पर आ गया। डॉलर के मुकाबले रुपये में गिरावट पर लगाम नहीं लग पा रही है और डॉलर के मुकाबले यह 81 के स्तर के पार निकलने को बेताब है। भारतीय मुद्रा कमजोर होने से आम जनता पर सीधा असर डालेगा, क्योंकि आयात पर खर्च बढ़ने से देश में महंगाई बढ़ने का खतरा बढ़ रहा है।

अमेरिकी डॉलर के मुकाबले भारतीय मुद्रा रुपया में गिरावट का सिलसिला बीते काफी दिनों से जारी है और यह लगातार नए निचले स्तर को छूता जा रहा है। विशेषज्ञों ने इसके 82 रुपये तक टूटने का अनुमान जताया है। इसके टूटने के कई कारण हैं। अमेरिकी फेडरल रिजर्व की 50-50-आधार-बिंदू दर वृद्धि और आने वाले महीनों में और अधिक दरों में बढ़ोतरी के संकेत को बड़ा कारण माना जा रहा है।

इसके अलावा विदेशी निवेशकों द्वारा भारतीय बाजारों से लगातार बिकवाली करना भी इसके गिरने की बड़ी वजह है। जबकि, रूस और यूक्रेन के बीच लंबा खिंचता युद्ध और उससे उपजे भू-राजनीतिक हालातों ने भी रुपये पर दबाव बढ़ाया है। गौरतलब है कि भारत तेल से लेकर जरूरी इलेक्ट्रिक सामान और मशीनरी के साथ मोबाइल-लैपटॉप समेत अन्य गैजेट्स के लिए दूसरे देशों से आयात पर निर्भर है।

अधिकतर कारोबार डॉलर में होता है। अगर रुपये में इसी तरह गिरावट जारी रही तो देश में आयात महंगा हो जाएगा। विदेशों से आयात होने के कारण इनकी कीमतों में इजाफा तय है, मतलब मोबाइल और अन्य गैजेट्स पर महंगाई बढ़ेगी और आपको ज्यादा खर्च करना होगा।

भारत अपनी जरूरत का 80 फीसदी कच्चा तेल विदेशों से खरीदता है और इसका भुगतान डॉलर में होता है। डॉलर के महंगा होने से रुपया ज्यादा खर्च करना होगा। इससे माल ढुलाई महंगी होगी, जिसके चलते हर जरूरत की चीज पर महंगाई की और मार पड़ेगी। यानी रुपये के टूटने से कई क्षेत्रों में बड़ा असर देखने को मिल सकता है।

spot_imgspot_img

Subscribe

Related articles

Operation Sindoor: ऑपरेशन सिंदूर, जानिए क्यों पीएम मोदी ने इस सैन्य अभियान को दिया ये नाम?

नमस्कार, दैनिक जनवाणी डॉटकॉम वेबसाइट पर आपका हार्दिक स्वागत...

Opration Sindoor पर PM Modi ने की सुरक्षाबलों की सराहना, Cabinet Meeting में लिया ये फैसला

जनवाणी ब्यूरो |नई दिल्ली: भारत द्वारा पाकिस्तान और पाकिस्तान...
spot_imgspot_img