- पंजीकरण न कराने वालों पर पांच लाख जुर्माना, एक साल तक की सजा का प्रावधान
- डीएम ने जारी किया नोटिस, होटल, लॉज, आवासीय कालोनी, रिजार्ट
- परिचर्या गृह, कारोबार प्रक्षेत्र, मॉल, वाटर पार्क के साथ-साथ वेधन अभिकरण भी दायरे में
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: डार्क जोन में चल रहे तीन ब्लॉक और सेमी क्रिटिकल स्थिति में चल रहे पांच ब्लॉक क्षेत्र को भूजल समस्या से उबारने के लिए कई विभागों की ओर से सामूहिक प्रयास शुरू किए गए हैं। इसी क्रम में जिला भूगर्भ जल प्रबन्धन परिषद के अध्यक्ष डीएम दीपक मीणा की ओर से एक सार्वजनिक नोटिस जारी किया गया है। जिसमें ट्यूबवेल, बोरवेल और सबमर्सिबल लगाने के लिए एनओसी लेने और पंजीकरण कराने के निर्देश जारी किए गए हैं।
जिलाधिकारी-अध्यक्ष जिला भूगर्भ जल प्रबन्धन परिषद जनपद-मेरठ की ओर से जारी नोटिस में अवगत कराया गया कि उत्तर प्रदेश शासन नमामि गंगे, ग्रामीण जलपूर्ति अनुभाग-3 एवं निदेशक भूगर्भ जल विभाग से जारी पत्रों के क्रम में बिना एनओसी प्राप्त किए चल रहे उद्योगों के विरुद्ध दंडात्मक कार्रवाई किए जाने के निर्देश प्राप्त हुए हैं।
उत्तर प्रदेश शासन की अधिसूचना द्वारा उत्तर प्रदेश भूगर्भ जल (प्रबन्धन और विनियमन) अधिनियम-2019 प्रख्यापित होने के पश्चात ट्यूबवेल, बोरवेल, सबमर्सिबल के माध्यम से भूजल निष्कषर्ण कर रहे समस्त वाणिज्यक, औद्योगिक, अवसंरचात्मक और सामूहिक भूगर्भ जल उपभोक्ताओं को जिला भूगर्भ जल प्रबन्धन परिषद से अनापत्ति प्रमाण पत्र, रजिस्ट्रीकरण लिया जाना अनिवार्य है।
यह नियम डेयरी, होटल, लॉज, निजी आवासीय भवन, आवासीय कालोनी, रिजार्ट, निजी चिकित्सालय, परिचर्या गृह, कारोबार प्रक्षेत्र, मॉल, वाटर पार्क के साथ-साथ वेधन अभिकरण (ड्रिलिंग एजेंसी) आदि पर लागू होगा। अनापत्ति प्रमाण पत्र और पंजीकरण न लेने वालों के विरुद्ध उत्तर प्रदेश भूगर्भ जल (प्रबन्धन और विनियमन) अधिनियम-2019 की धारा 39 के अन्तर्गत धनराशि दो लाख से पांच लाख तक जुर्माना और अथवा छह माह से एक वर्ष का कारावास के साथ दंडित किए जाने की कार्रवाई की जा सकती है।
नोटिस में समस्त वाणियक, औद्योगिक, अवसंरचात्मक और सामूहिक भूगर्भ जल उपभोक्ता तथा वेधन अभिकरण (ड्रिलिंग एजेन्सी) को निर्देशित किया गया कि भू-गर्भ जल दोहन के सम्बंध में आवश्यक उपकरण व अन्य मानकों की पूर्ति करते हुए, 15 दिन के अन्दर आॅनलाइन पंजीकरण के लिए कराते हुए अनापत्ति प्रमाण-पत्र प्राप्त कर लिया जाए। ऐसा न होने की स्थिति में नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी। अवगत कराया गया कि आॅनलाइन पंजीकरण में किसी भी कठिनाई के सम्बन्ध में आदित्य पांडेय, सीनियर जियोफिजिसिस्ट, भूगर्भ जल विभाग, खंड मेरठ से बी-371, गंगा नगर मेरठ से सम्पर्क किया जा सकता है।