Friday, March 29, 2024
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अवैध निर्माणों पर जीओसी के आदेश बेमानी

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  • बोर्ड बैठक में कमांडर ने दिए थे सीईओ को अवैध निर्माणों की रिपोर्ट तलब करने के निर्देश
  • डेढ़ साल बाद भी बोर्ड पटल पर नहीं रखी जा सकी 575 अवैध निर्माणों की रिपोर्ट
  • जिला प्रशासन की ओर से एडीएम सिटी ने भी जतायी थी कैंट में अंधाधुंध अवैध निर्माणों पर नाराजगी

जनवाणी संवाददाता |

मेरठ: कमांडर के आदेशो बावजूद करीब डेढ़ साल बाद भी छावनी क्षेत्र में 575 अवैध निर्माणों पर रिपोर्ट बोर्ड बैठक के पटल पर नहीं रखी जा सकी। जिस बोर्ड बैठक में कमांडर ने इस आश्य के आदेश दिए थे, उसी बोर्ड बैठक में जिला प्रशासन के प्रतिनिधि के तौर पर मौजूद एडीएम सिटी ने कैंट क्षेत्र में आयी अवैध निर्माणों की बेहताशा बाढ़ पर हैरानी जतायी थी।

दरअसल कैंट बोर्ड के दो सदस्यों ने अंधाधुंध निर्माणों पर बोर्ड के तत्कालीन अध्यक्ष कमांडर अनमोल सूद के समक्ष बैठक में अवैध निर्माणों का मुददा उठाया था। इसको लेकर तत्कालीन सीईओ प्रसाद चव्हाण की भूमिका पर भी सवाल खडेÞ किए गए थे। अवैध निर्माणों की रिपोर्ट न किए जाने पर नाराजगी जताते हुए कमांडर अनमोल सूद ने बोर्ड की अगली बैठक में सभी 575 अवैध निर्माणों की रिपोर्ट बैठक के पटल पर रखने के आदेश दिए थे।

आदेश के बाद भी रिपोर्ट नहीं

29 मई 2019 को हुई बोर्ड बैठक की जो मिनिटस सदस्यों के यहां भेजी गयी थी यदि एक बार उनको पढ़ लिया जाए तो दूध का दूध पानी का पानी हो जाएगा। उक्त मिनिटस में तत्कालीन कमांडर के अवैध निर्माणों पर रिपोर्ट तलब किए जाने का भी उल्लेख किया गया है। साथ ही उन सदस्यों के नाम भी उल्लेखित किए गए हैं जिन्होंने अवैध निर्माणों को लेकर कठोर शब्दों में बोर्ड की बैठक में नाराजगी जतायी थी।

कमांडर के आदेश के अनुपालन का इंतजार

जिस बोर्ड बैठक में कमांडर ने 575 अवैध निर्माणों को लेकर अलगी बोर्ड बैठक के पलट पर रिपोर्ट पेश करने के आदेश दिए थे उन आदेशों के अनुपालन का आज तक इंतजार किया जा रहा है। कमांडर के आदेशों के बार तत्कालीन सीईओ प्रसाद चव्हाण ने 15 दिन के भीतर अवैध निर्माणों पर रिपोर्ट तलब कर ली थी, लेकिन सीईओ के आदेश के बाद भी अगली बोर्ड बैठक के लिए रिपोर्ट तैयार किया जाना तो दूर की बात रही, उस पर फिर चर्चा तक की नौबत किसी बोर्ड बैठक में नहीं की गयी। ऐसा क्यों और किस के प्रेशर में किया गया अवैध निर्माणों के खिलाफ आवाज उठाने वालों को अब नवागत सीईओ नवेन्द्र नाथ से इसकी तहत तक पहुंचने की उम्मीद है।

कहां गयी सेनिटेशन सेक्शन की रिपोर्ट

333 और 242 अवैध निर्माणों की दो अलग अलग सूची बतायी जाती हैं। हालांकि जनवाणी इसकी अधिकृत पुष्टि नहीं करता, लेकिन अपुष्ट सूत्रों की मानें तो इन कुल 575 अवैध निर्माणों पर सेनिटेशन सेक्शन ने रिपोर्ट कैंट प्रशासन के समक्ष दाखिल कर दी थीं। सेनिटेशन की रिपोर्ट के बाद इंजीनियरिंग सेक्शन द्वारा रिपोर्ट पेश की जानी थी, इसके पीछे क्या कारण रहे। क्यों नहीं ऐसा किया गया, इससे तो पर्दा तभी उठा सकता है जब 575 अवैध निर्माणों पर दी गयी सेनिटेशन विभाग की रिपोर्ट की फाइल से धूल झाड़ दी जाए।

बैठक में एडीएम सिटी की गंभीर टिप्पणी

29 मई 2019 को अध्यक्ष कमांडर अनमोल की अध्यक्षता व सीईओ प्रसाद चव्हाण के संचालन में हुई बोर्ड बैठक में जिला प्रशासन ने प्रतिनिधि के तौर पर मौजूद रहे एडीएम सिटी ने अवैध निर्माणों पर कैंट बोर्ड प्रशासन को आइना दिखाने का काम किया था।

अवैध निर्माणों की बाढ़ को एडीएम सिटी ने कैंट और खासतौर से सेना की सुरक्षा के दृष्टिकोण से गंभीर खतरा माना था। साथ ही ऐसे मामलों पर जिम्मेदारों पर भी कठोर कार्रवाई का आग्रह कमांडर से किया था। उसके बाद ही कमांडर ने 575 अवैध निर्माणों की रिपोर्ट बोर्ड की अगली बैठक के पटल पर रखे जाने के निर्देश तत्कालीन सीईओ को दिए थे, लेकिन कमांडर के आदेश पूरा किए जाने का आज तक इंतजार ही किया जा रहा है।

नवागत सीईओ पर टिकी उम्मीद

अवैध निर्माणों को लेकर आवाज उठाने वाले आरटीआई कार्यकर्ताओं की उम्मीद अब नवागत सीईओ नवेन्द्र नाथ पर आकर टिक गयी हैं। जिस प्रकार से अवैध निर्माणों के प्रति बोर्ड के नए सीईओ का कठोर रूख है उसके चलते तमाम लोगों का मानना है कि अवैध निर्माणों के खिलाफ कैंट प्रशासन जल्द ही कोई बड़ी कार्रवाई कर सकता है। हालांकि इसके लिए अभी इंतजार की बात से भी इंकार नहीं किया जा रहा है।

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