- लोहिया नगर विस्फोट मामले में छह लोग हिरासत में
- बारूद में भीषण धमाकों की पूर्व की घटनाओं से तो ये ही लगता है कि नहीं सीखा सबक
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: क्रांतिधरा बारूद के ढेर पर नजर आती है। मंगलवार सुबह लोहिया नगर की घटना ने एक बार साबित कर दिया है कि अफसरों ने बारूद में धमाकों की पूर्व की घटनाओं से कोई सबक नहीं सीखा है। यदि सबक सिखा होता तो शायद लोहिया नगर में पटाखे बनाने के लिए गंधक व पोटाश सरीखा पटाखे बनाने का बारूद ना जमा किया गया। होता और न ही पांच लोगों की जान जाती। वहीं लोगों की मानें तो लोहिया नगर में इस साबुन फैक्ट्री के अलावा भी पटाखे बनाने का अवैध कारोबार किया जा रहा है।
इसकी पुष्टि जिस स्थान पर लोहिया नगर में सुबह धमाका हुआ, उससे चंद कदम की दूरी पर एक अन्य मकान से लोहिया नगर में पटाखे में प्रयुक्त की जाने वाली सामग्री मसलन गंधक पोटाश सरीखा बारूद बरामद किया। हालांकि इसको लेकर अधिकारी मुंह खोलने से अभी बच रहे हैं, लेकिन आसपास के लोगों ने लोहिया नगर पुलिस द्वारा एक मकान से ड्रमों में रखा गया पटाखे बनाने के सामान का बरामद किया गया है, लेकिन यहां पहले बात मेरठ के बारूद के ढेर पर पर होने की की जाए तो बेहतर है। बात ज्यादा पुरानी नहीं है
जब मेरठ के सरधना, मवाना, सरूरपुर, लिसाड़ीगेट सरीखे इलाकों में लोहिया नगर सरीखे धमाके हुए और जानमाल की बड़ी हानि हुई। इस प्रकार के विस्फोटों की पूर्व में हुई घटनाओं के बाद सिस्टम चलाने वालों के नींद से जागने की उम्मीद की जा रही थी, लेनिक सिस्टम चलाने वाले नींद से कितने जागे यह बात मंगलवार की सुबह हुए अमंगलकारी धमाके से साफ हो गयी।
उधर देर रात लोहियानगर कालोनी एम पॉकेट में हुए आतिशबाजी के गोदाम में हुए विस्फोट के मामले में पुलिस ने छह लोगों को हिरासत में लिया है। आरोपी शास्त्री नगर सेक्टर सात निवासी गौरव गुप्ता की पत्नी व अन्य परिजन भी हिरासत में लिए गये हैं। जिसमें भाजपा शास्त्री नगर मंडल के कार्यकर्ता आलोक रस्तोगी को भी पूछताछ के लिए उठाया है। गौरव गुप्ता के पार्टनर हैंं आलोक रस्तोगी को पुलिस ने भाजपा के बड़े प्रतिनिधि के आवास से लौटते हुए रास्ते से उठाया।
पटाखे की फैक्ट्री का पहले से था इलम
लोहिया नगर में साबुन की फैक्ट्री की आड़ में पटाखे भी बनाए जा रहे हैं इस बात का थाना लोहिया नगर व खरखौदा के पुराने स्टाफ को पहले से इलम था। सूत्रों की मानें तो इस बात की जानकारी मिलने के बाद अफसरों ने इसको लेकर फीडबैक जुटाना शुरू कर दिया है कि किन-किन पुलिस वालों की नॉलेज में लोहियानगर व उससे सटे थाना खरखौदा के इलाकों में अवैध रूप से पटाखों का कारोबार किया जा रहा है।
दरअसल, लोहिया नगर थाना कुछ समय पहले मसलन लगभग दो माह पहले ही शुरू किया गया है। इससे पहले इस थाने का कुछ हिस्सा लिसाड़ीगेट और कुछ इलाका खरखौदा थाना क्षेत्र में पड़ता था। इन दोनों थानों के थोड़े-थोड़े हिस्से को मिलाकर ही लोहियाा नगर थाना का एरिया बना निर्धारित किया गया है। वैसे तो लोहिया नगर थाने के का थानेदार समेत ज्यादातर स्टाफ नया है, लेकिन कुछ स्टाफ जिनमें थानेदार की गाड़ी पर चलने वाला स्टाफ भी शामिल और इस इलाके से पूरी तरह से वाकिफ भी था बताया जाता है कि उसकी जानकारी में लोहिया नगर में अवैध रूप से पटाखे बनाए जाने की पूरी जानकारी थी।
लोगों का तो यहां तक कहना है कि पटाखों का अवैध कारोबार करने वालों का पूरा संरक्षण दिया हुआ था। सुनने में आया है कि थाने की जीप पर चलने वाला यह स्टाफ इस इलाके की दाई माना जाता है, लेकिन इस दायी माने जाने वाले स्टाफ ने लोहिया नगर में पटाखों के अवैध कारोबार की बात थानेदार समेत बाकि स्टाफ से छिपायी, लेकिन मंगलबार शाम होते होते पुलिस के कुछ बड़े अफसरों के कानों तक यह खबर पहुंच चुकी थी। थाने में जो नए सिपाही व दारोगा आए हैं बताया जाता है कि जब उन तक यह सारी खबर पहुंची तो वो भी सिर पकड़ कर बैठ गए।
मकान से जखीरा बरामद
लोहिया नगर में मंगलवार की सुबह जिस जगह धमका हुआ, उससे चंद कदम की दूरी पर स्थित एक मकान से लोहिया नगर पुलिस द्वारा पटाखे बनाने में प्रयुक्त होने वाले सामान बरामद किए जाने की जानकारी क्षेत्र के लोगों ने दी है। उन्होंने बताया कि थाने के जो लोग इस इलाके से पहले से बाकिफ हैं, उन्होंने ही शाम करीब चार बजे एक मकान से ड्रमों में छिपाकर रखा गया पटाखे बनाने का सामान बरामद किया है।
यह सामान जीप में रखकर पुलिस वाले ले जाते देखे जाने की जानकारी यहां के आसपास के लोगों द्वारा दी गयी है। लोगों का यह भी कहना है कि इस बात की गारंटी नहीं कि केवल इसी मकान में पटाखे बनाने का जखीरा रखा हुआ था। यदि सर्च किया जाए तो और मकानों से भी पटाखे बनाने का सामान मिल सकता है।
एटीएस टीम ने की मौके पर जांच पड़ताल
लोहियानगर में बम जैसे धमाके की जानकारी मिलते ही गाजियाबाद से एटीएस टीम सीओ अनुज के नेतृत्व में मौके पर जा पहुंची। एटीएस इंस्पेक्टर राजीव त्यागी व उनकी टीम ने गोदाम के आसपास जुटे लोगों से विस्फोट से संबंधी जानकारी जुटाई। इस दौरान एटीएस टीम कई घंटे तक शाम तक मौके पर डटी रही।
टीम इस जांच पड़ताल में जुटी है कि आखिर धमाका इतना बड़ा कैसे हुआ। विस्फोटक सामग्री कौनसी थी। आखिर धमाके की वजह के पीछे क्या राज है। आतिशबाजी तैयार हो रही थी। या कुछ ओर था। आखिर विस्फोटक सामग्री कहां से आई। कौन इस गोदाम में विस्फोटक सामग्री को यहां लाया। इन सभी बिन्दुओं पर एटीएस जांच में जुटी है।
डॉग स्क्वायड ने की पड़ताल
मौके पर डॉग स्क्वायड भी पहुंचा और जांचपड़ताल की। डॉग स्क्वायड ने एक जर्मन शेफर्ड व लैब्रा डॉग ने गोदाम के मलबे में जाकर कई बार विस्फोटक सामग्री और शव को ढूंढने में लगाया।
डीएम ने दिए जांच के आदेश
लोहिया नगर में हुए भीषण विस्फोट की घटना की जांच के आदेश डीएम दीपक मीणा ने दिये हैं। अधिकारियों की एक टीम इसकी जांच करेगी। कब से पटाखा गोदाम यहां पर चल रहा था, इन तमाम तथ्यों की जांच पड़ताल की जाएगी। गोदाम के मालिक कौन हैं? कब से ये संचालित कर रहे थे। इसमें पुलिस या फिर किसी अन्य की भी मिलीभगत रही हैं या फिर नहीं। इन तमाम तथ्यों को लेकर अधिकारियों की टीम जांच पड़ताल करेगी।
डीएम ने फोन पर जिस व्यक्ति का गोदाम है, उससे फोन पर भी बातचीत की, लेकिन इसके बाद ही आरोपी ने अपना मोबाइल स्वीच आॅफ कर लिया। तभी से आरोपी का मोबाइल स्वीच आॅफ आ रहा हैं। डीएम ने प्रारंभिक जांच में बताया कि पटाखा बनाने का कोई लाइसेंस आरोपी के पास नहीं हैं। यहां पर अनाधिकृत तरीके से गोदाम बनाकर पटाखे स्टोर कर रखे थे, इसकी भी जांच की जा रही हैं।