नमस्कार, दैनिक जनवाणी डॉटकॉम वेबसाइट पर आपका हार्दिक अभिनंदन और स्वागत है। इस समय सावन का महीना चल रहा है। यह महीना भगवान भोलेनाथ को प्रिय है। सावन के महीने में भगवान आशुतोष की आराधना करने से विशेष लाभ मिलता है। सोने पर सुहागा तब हो जाता है जब सावन के सोमवार अथवा प्रदोष पर भगवान शिव की विधि विधान से पूजा अर्चना की जाए। कहा जाता है कि भगवान भोले शंकर अपने भक्तों की इच्छाएं अवश्य ही पूर्ण करते हैं।
ज्योतिषाचार्यो के अनुसार, सावन मास का पहला प्रदोष व्रत 15 जुलाई 2023 (शनिवार) को आ रहा है। इस दिन शनिवार होने के कारण इसे शनि प्रदोष भी कहा जाएगा। अगर आप भी इस दिन शुभ मुहूर्त में पूरे विधि-विधान से शिव की पूजा करेंगे तो निश्चित रूप से आपके मनोरथ पूरे होंगे।
पंचांग की गणना के अनुसार प्रदोष तिथि का आरंभ 14 जुलाई 2023 (शुक्रवार) को सायं 7.18 बजे होगा। इसका समापन अगले दिन 15 जुलाई 2023 (शनिवार) को सायं 8.33 बजे होगा। हिंदू धर्म में उदय तिथि की मान्यता होने के कारण प्रदोष व्रत शनिवार को ही किया जाएगा। इस दिन चंद्रमा वृषभ राशि में उच्च का रहेगा जो एक शुभ संयोग बना रहा है।
ऐसे करें प्रदोष व्रत
जो भक्त बाबा भोलेनाथ को प्रसन्न करना चाहते हैं, उन्हें प्रदोष व्रत अवश्य ही करना चाहिए। सुबह जल्दी उठ कर स्नान आदि से निवृत्त होकर किसी शिव मंदिर में जाएं। वहां पर गणेशजी की पूजा कर उन्हें मनाएं। इसके बाद भगवान शिव, मां पार्वती, कार्तिकेय और नंदीश्वर की पूजा करें। शिवलिंग पर गंगाजल से अभिषेक करें।
गंगाजल नहीं होने पर जल से भी अभिषेक कर सकते हैं। श्वेत चंदन से उनका श्रृंगार करें। पूरे दिन व्रत रखें एवं निराहार रहते हुए केवल एक समय फलाहार ग्रहण करें। साथ ही शिव के पंचाक्षरी मंत्र “ॐ नमः शिवाय” का कम से कम 1100 बार जप करें। इस व्रत करने से भगवान अपने भक्तों पर अवश्य ही प्रसन्न होते हैं।
डिस्क्लेमर: यहां प्रकाशित की गई जानकारी ज्योतिष पर आधारित है तथा केवल सूचना के लिए दी जा रही है। दैनिक जनवाणी डॉटकॉम इसकी पुष्टि नहीं करता है। किसी भी उपाय को करने से पहले संबंधित विषय के विशेषज्ञ से सलाह अवश्य लें।
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