- ठंड का प्रकोप जारी, जनजीवन अस्त-व्यस्त
- रविवार की रात सीजन की अब तक की सबसे सर्द रात
जनवाणी संवाददाता |
मोदीपुरम: पहाड़ों पर हो रही लगातार बर्फबारी के कारण ठंड का प्रकोप लगातार बढ़ रहा है। ठिठुरन भरी ठंड के पड़ने से लोगों को परेशानी होने लगी है। हाड़कंपाने वाली ठंड ने जनवरी के महीने में लोगों को बेहाल कर दिया है। रात का पारा तीन डिग्री पर लुढ़क गया है। जबकि दिन का पारे में भी लगातार गिरावट दर्ज हो रही है। जिसके चलते सर्दी का अच्छा खासा असर बना हुआ है। मौसम विशेषज्ञों की माने तो अभी सर्दी का प्रकोप जारी रहेगा। कोहरे और पाले के साथ सर्दी बदस्तूर जारी रहेगी।
उधर, रविवार की रात अब तक की सबसे सर्द रात रही है। मौसम विभाग के आंकड़ों पर नजर डाली जाए तो उससे साफ स्पष्ट हो रहा है कि जनवरी के इस महीने में अब तक की यह सबसे सर्द रात है। जबकि कई वर्षों में भी इतनी सर्दी अभी तक नहीं पड़ी है। सर्दी का प्रकोप लगातार बढ़ने के कारण लोगों को अब बीमारी भी सताने लगी है। रात में कोहरे का प्रकोप अत्यधिक देखने को मिला। कोहरा बढ़ने के कारण हाइवे पर कई भयंकर हादसे भी हुए है।
पश्चिमी विक्षोभ के सक्रिय होने से पहाड़ों पर लगातार बर्फबारी हो रही है। पहाड़ों की बर्फ बारी का असर मैदानी इलाकों में भी देखने को मिल रहा है। जिसके चलते ठंड दिन प्रतिदिन बढ़ रही है। 15 जनवरी का समय बीत गया है और ठंड का प्रकोप कम नहीं हो रहा है। अमूमन 15 जनवरी तक सर्दी का एहसास कम हो जाता है, लेकिन इस बार सर्दी का एहसास बढ़ रहा है।
सरदार वल्लभ भाई पटेल कृषि एवं प्रौद्योगिक विवि के मौसम वैज्ञानिक डा. यूपी शाही के अनुसार अभी कोहरे और पाले के साथ सर्दी का एहसास बढ़ेगा। सर्दी का प्रकोप बढ़ने के कारण लोग परेशानी से भी जूझेगें। खासकर बच्चे और बुजुर्ग इस बढ़ती ठंड से अपना बचाव करे और गर्म कपड़ों के बिना घर से बाहर न निकले। अन्यथा बीमारी का शिकार हो जाएगें।
शीतलहरी से क म हुआ प्रदूषण
मौसम कार्यालय पर सोमवार को दिन का अधिकतम तापमान 17.7 डिग्री एवं न्यूनतम तापमान 3.6 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। अधिकतम आर्द्रता 94 एवं न्यूनतम आर्द्रता 45 प्रतिशत दर्ज की गई। हवा का रुख सुबह शांत रहा, लेकिन शाम को चार किमी प्रति घंटा की रफ्तार से आंका गया। हवाएं तेज होने के कारण प्रदूषण में कमी आई है। जिसके चलते महानगर का प्रदूषण भी कम हुआ है
और प्रदूषण की रोकथाम के लिए भी लोगों ने आगे आकर पहल भी करनी शुरू कर दी है। हालांकि अमूमन इन महीनों में प्रदूषण का प्रकोप बढ़ता है। जिसके कारण लोगों को परेशानी होती है। खासकर अस्थमा और दमा के रोगियों को अधिक परेशानी देखने को मिलती है। इसलिए इस मौसम में सावधानी बरतनी बेहद आवश्यक है।
नौचंदी 12 घंटे, उत्कल 13 घंटे देरी से पहुंची ट्रेन
मेरठ: कोहरे के कारण अधिकतर ट्रेने अपने निर्धारित समय से स्टेशन नहीं पहुंच पा रही हैं। ट्रेनो के देरी से पहुंचने के कारण स्टेशन पर यात्रियों की संख्या में भी साफ कमी देखी जा सकती है। सोमवार को नौचंदी व उत्कल के साथ छत्तीसगढ़ ट्रेन भी अपने निर्धारित समय से देरी से पहुंची। ट्रेनो के देरी से पहुंचने के कारण यात्रियों को परेशानी का सामाना करना पड़ा। स्टेशन अधीक्षक ने बताया कि कोहरे के चलते अधिकतर ट्रेने अपने निर्धारित समय से देरी से ही स्टेशन पर पहुंच रही है।
देरी से ही अपने गणतव्य के लिये रवाना हो पा रही हैं। सिटी स्टेशन अधीक्षक आरपी सिंह ने बताया कि सोमवार को अधिकतर ट्रेनें अपने निर्धारित समय से देरी से ही स्टेशन पर पहुंची। कुछ ट्रेन ही अपने निर्धारित समय पर स्टेशन पहुंची और गणतव्य के लिये रवाना हो सकी। उन्होंने बताया कि नौचंदी सोमवार को 12 घंटे से अधिक समय देरी से स्टेशन पहुंची, सांय करीब 645 पर वह स्टेशन पहुंची। वहीं रात्रि में वह करीब 10:45 बजे वापस रवाना हो सकी। उत्कल एक्सप्रेस भी 13 घंटे देरी से स्टेशन पर पहुंची।
जिसके चलते यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ा। अधीक्षक आरपी शाही ने बताया कि छत्तीसगढ़ एक्सप्रेस भी अपने निर्धारित समय से करीब चार घंटा से अधिक देरी से स्टेशन पहुंची। इसमें बताया कि अधिकतर ट्रेनें कोहरे के कारण देरी से ही स्टेशन पहुंच रही हैं,और वह फिर अपने गणतव्य के लिये रवाना हो रही हैं। कोहरे के करण ट्रेनें के देरी से चलने के कारण यात्रियों को परेशानी का सामना करना पड़ रहा हैं।