- ई-रिक्शा, आटो में नहीं लगाता कोई मास्क और न ही होता सोशल डिस्टेंसिंग का पालन
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: कोविड-19 को दृष्टिगत रखते हुए दुपहिया वाहनों पर मास्क न लगाने वाले लोगों पर प्रशासन द्वारा कड़ी कार्रवाई की जा रही है। वहीं, दूसरी और मास्क न लगाने वाले आटो चालक तथा ई-रिक्शा चालकों पर मेहरबानी देखने को मिल रही हैं। आलम ये है कि शहर भर में ऐसे अनेकों आटो व ई-रिक्शा चालक मिल जाएंगे जो न तो खुद मास्क लगाते हैं और न ही सवारियों को मास्क लगाने के लिए कहते हैं।
ये हाल तब है, जब शहर भर के विभिन्न चौराहों पर ट्रैफिक पुलिस टीम खड़ी रहती है, लेकिन वह सिर्फ दुपहिया वाहन चालकों पर ज्यादा ध्यान केन्द्रित कर रही हैं। जबकि शासन का साफ-साफ निर्देश है कि बिना मास्क जो भी वाहन चलाता मिले उस पर त्वरित कार्रवाई करते हुए चालान काटा जाए।
उसके बावजूद कोई असर देखने को नहीं मिल रहा है। दरअसल शहर में आॅटो व ई-रिक्शा वाले खुलकर सरकार की गाइडलाइंस का उल्लंघन कर रहे हैं। यहीं नहीं आटो व ई-रिक्शा चालक सवारियों को भरकर चलाते हैं। जिससे संक्रमण का खतरा ज्यादा बढ़ रहा है। क्योंकि अनलॉक की प्रक्रिया में हजारों लोगों का आना-जाना आटो व ई-रिक्शा के माध्यम से ही चल रहा है।
जिसमें कुछ लोग तो नियमों का पालन करते हैं, लेकिन अधिकतर ऐसे लोग मिल जाएंगे जो मास्क व अन्य सावधानियों का ध्यान नहीं रख रहे हैं। आटो चालक भी सवारियों को फुल भरकर ही चलाते हैं। इस दौरान चालक सोशल डिस्टेंस और रोकथाम के लिए जारी की गयी सरकार द्वारा गाइडलाइंस का पालन नहीं करते।
ऐसे में कोरोना संक्रमण के बढ़ने का खतरा और बढ़ जाता है। बता दें कि जनपद में कोरोना का संक्रमण तेजी से बढ़ रहा है। एक दो दिन को छोड़ दिया जाएं। तो हर रोज 100 से ज्यादा की संख्या में कोरोना के मरीज पाएं जा रहे है। ऐसी परिस्थितियों में सिर्फ बचाव ही एक मात्र साधन हैं।