नमस्कार, दैनिक जनवाणी डॉटकॉम वेबसाइट पर आपका हार्दिक स्वागत और अभिनंदन है। करवा चौथ के कुछ दिन बाद अहोई अष्टमी को त्योहार मनाया जाता है। वहीं, इस बार यह व्रत 5 नवंबर की अष्टमी तिथि को पड़ रहा है। माना जाता है कि अहोई व्रत संतान के लिए मनाया जाता है। इस दिन माताएं पूरे दिन व्रत रहकर शायंकाल में तारे को जल अर्पित कर अपने उपवास का पारण करती हैं। हिंदू केलेंडर के अनुसार, इस वर्ष यह व्रत 4 नवंबर की रात 1 बजे से शुरू हो रहा है। वहीं, इसका समापन 5 नवंबर को देर रात 3 बजकर 19 मिनट पर होगा। साथ ही अहोई व्रत के दिन कुछ कार्य ऐसे हैं जो नहीं करने चाहिए। तो चलिए जानते हैं…
अहोई अष्टमी व्रत के दिन न करें ये काम
- इस दिन व्रती को काले या नीले रंग के वस्त्र बिल्कुल नही पहनने चाहिए। इस प्रकार के वस्त्र पूजा में अशुभ माने गए हैं।
- इस दिन व्रत करने वाली महिलाएं इस बात का ध्यान रखें कि वह मिट्टी से जुड़ा कोई काम न करें। इसके साथ बगीचे में भी किसी भी प्रकार की खुदाई,गुड़ाई का कार्य बिलकुल न करें ।
- व्रत के दिन किसी भी प्रकार की नुकीली चीज को हाथ न लगाएं। इस दिन न ही सिलाई का काम आदि करें और न ही चाकू से कोई काम करें ।
- इस दिन परिवार में विवाद या झगड़े से बचना चाहिए। भूलकर भी किसी का अपमान न करें।
- शास्त्रों में दिन में सोना शुभ नहीं बताया गया है। अहोई अष्टमी के दिन व्रत पारण से पहले सोना वर्जित है।
- इस दिन परिवार के लिए सात्विक भोजन ही पकाएं। लहसुन-प्याज के इस्तेमाल से बचना चाहिए।पूजा के बाद व्रती को भी शुद्ध सात्विक भोजन ही करना चाहिए।
What’s your Reaction?
+1
+1
+1
+1
+1
+1
+1