- लगाया गेट, ग्रामीणों का हंगामा, गेट उखाड़ा
- कब्जे के विरोध में गांव के शिव मंदिर में पंचायत आज
जनवाणी संवाददाता |
मोदीपुरम: सिवाया गांव की मुर्दा मवेशी गृह की बेस कीमती भूमि पर अजय गुप्ता बिल्डर द्वारा कब्जा करके गेट लगा दिया गया। कब्जे की सूचना जब ग्रामीणों की लगी तो ग्रामीण एकत्र हो कर मौके पर पहुंच गए और जेसीबी मंगाकर गेट को उखाड़ दिया। गुरुवार को ग्रामीणों को पता चला टोल प्लाजा के पास वेदांता कुंज के नाम से कॉलोनी काट रहे बिल्डर अजय गुप्ता ने मुर्दा मवेशी की ओर एक गेट लगाकर बेशकीमती जमीन पर कब्जा कर लिया है।
सूचना मिलते ही ग्रामीण मौके पर पहुंचे और एसडीएम सरधना पंकज राठौर को मौके पर बुलाया और गेट उखाड़ फेंका। लेखपाल अनुज निगम ने बताया कि यह भूमि हमने नापकर ग्राम प्रधान किलेंदर और ग्राम सचिव अतुल चौधरी को सौंप दी थी। बाद में यह अवैध कब्जा कैसे हुआ पता नहीं।
ग्राम सचिव और प्रधान का कहना है कि यह कब्जा उनके संज्ञान में नहीं है। इस मामले में ग्रामीणों का आरोप है कि एक महिला अधिकारी ने इस भूमि पर अवैध कब्जा कराने के बदले कालोनाईजर से वेदांता कुंज में एक बेसकीमती प्लाट लिया है और सौंदर्यीकरण के नाम पर यह कब्जा कराया है।
वहीं, इस मामले में गांव वासियों को खामोश रहने को धमका रही है और फर्ज़ी मुकदमे दर्ज कराने की धमकी देती है। अब इस मामले में गांव वालों ने शुक्रवार को गांव के शिव मंदिर में पंचायत रखी है। जिसमें आरपार की लड़ाई का ऐलान किया जाएगा। ग्रामीणों का कहना है कि वह इस तरह से बिल्डर द्वारा कब्जा नहीं होने देंगे।
पहले भी किया कब्जे का प्रयास
पहले भी बिल्डर द्वारा शीलकुंज कालोनी में गेट को लेकर कब्जे का प्रयास किया था। हालांकि मेडा वीसी के चलते बिल्डर की एक न चली और बिल्डर को गेट बंद करना पड़ा। यह बिल्डर कब्जे के मामले हर समय सुर्खियों में रहता है।
कैश कॉलेज के मालिक एसपी देशवाल समेत तीन पर गबन का मुकदमा
कैश कॉलेज के मालिक डा. एसपी देशवाल समेत तीन लोगों पर धोखाधड़ी से फर्जी हस्ताक्षर करने एवं कूटरचना कर मुन्दरा सहकारी समिति लिमिटेड की फर्जी बैलेंस सीट तैयार कर पांच लाख रुपये गबन करने का मामला पल्लवपुरम थाने पर गुरुवार को दर्ज किया गया। गंगोत्री कालोनी निवासी अजय कुमार द्वारा दर्ज कराए गए मुकदमे में आरोप लगाया कि मुन्दरा सहकारी आवास समिति लिमिटेड सहकारी समिति अधिनियम 1965 की धारा-9 के तहत निगमित निकाय है।
आॅडिटर शशिबाला द्वारा इसका आॅडिट किया गया। आॅडिट के समय समिति के सचिव एसपी देशवाल, सभापति नरेशपाल नेहरा और मूल बेलेंससीट के पेज नक्सा आम तथा प-2 में वृत योग 1890435.89 रुपये था। मूल बैलेंस सीट के पेजे नक्सा पंजी व जिम्मेदारी प-3 पर एवं आॅडिट आपत्तियों पर आॅडिटर शशिबाला समेत तीन व्यक्तियों के मूल व मौलिक हस्ताक्षर है। जबकि सुपरवाइजर/ इंचार्ज और सभापति के कोई हस्ताक्षर अंकित नही थे।
जिसके चलते धोखाधड़ी करके बिजेंद्र सिंह, सत्यपाल सिंह देशवाल, नरेशपाल नेहरा ने पांच लाख रुपये का गबन किया है। एसएसपी के आदेश पर पल्लवपुरम थाने पर मुकदमा कायम किया गया है। थाना प्रभारी पल्लवपुरम राजेश कुमार कांबोज का कहना है कि एसएसपी के आदेश पर मुकदमा कायम किया गया है। पांच लाख रुपये का गबन करने के मामले में मुकदमा कायम किया गया।