- सरस्वती शिुश विद्या मंदिर में आचार्य प्रशिक्षण का चौथा दिन
जनवाणी संवाददाता |
शामली: सरस्वती शिशु विद्या मंदिर शामली में आचार्य प्रशिक्षण के चतुर्थ दिवस ट्वेंटी फर्स्ट सेंचुरी स्किल्स लाइफ के विषय में विस्तार से बताया गया। इस दौरान आचार्यों ने पूर्ण योग मनोयोग से कक्षा में छात्र-छात्राओं को तकनीकी प्रायोगिक के आधार शिक्षित करने का संकल्प लिया।
मंगलवार को आयोजित प्रशिक्षण में विद्यालय के आचार्य रविंद्र कुमार ने सभी आचार्यों को संबोधित करते हुए बताया कि नई शिक्षा नीति के अनुसार हमें अपने अध्यापन में सभी स्किल्स का समावेश करना है।
हम छात्र के जीवन में परिस्थितियों एवं राष्ट्रीय जीवन के लिए छात्रों के सर्वांगीण विकास में अत्यंत लाभदायक सिद्ध हो सकते हैं। आज तकनीकी का युग है इससे छात्रों को परिचित कराना हम सब का कर्तव्य है। हमें उसकी जानकारी तथा उपयोगिता का ज्ञान भी कराना है।
नवाचार के माध्यम से जिससे विद्यालय में छात्र-छात्राओं की रूचि के अनुसार कुशलता की दक्षता को बढ़ाना है। जिससे वे जीवन में आने वाली चुनौतियों का सामना कर सके और एक आदर्श नागरिक बन सकें। नई शिक्षा नीतियों को उजागर का कार्य आज विद्यालय के सभी आचार्य पूर्ण रूप से करें।
विद्यालय के प्रधानाचार्य संजय कुमार सैनी ने कहा कि नई शिक्षा नीति 2020 के संदर्भ अनुसार शिक्षण पद्धति से छात्र नए आयाम सीखकर कुशलताओं से परिपूर्ण होकर जीवन में नए-नए विधियों द्वारा शिक्षा को रोजगार परक बनाने में सफल होंगे। इस दौरान आचार्यों ने संकल्प लिया हम पूर्ण योग मनोयोग से कक्षा में भैया बहनों को तकनीकी प्रायोगिक के आधार पर उनको शिक्षित करेंगे।
इस अवसर पर आचार्य रवि गौड़, विजेंद्र कुमार, शिवकुमार धीमान, मोहित कुमार, मांगेराम शर्मा, प्रवेश शर्मा, संजीव बालियान, रमा शर्मा, सारिका शर्मा, लक्ष्मी गर्ग, सविता गुप्ता तथा सभी आचार्य गण उपस्थित रहे।