- राकेश टिकैत ने बोला भाजपा पर जोरदार हमला, थाना परतापुर से नहीं उठेंगे आक्रोशित किसान
जनवाणी संवाददाता |
मेरठ: थाना परतापुर पहुंचे भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत शनिवार को जमकर गरजे। उन्होंने मंच से भाजपा और अफसरों पर जोरदार हमला बोला। राकेश टिकैत ने कहा कि सरकार मनमानी पर उतरी हुई है, लेकिन किसान इस मनमानी का उत्तर देना जनता है। अफसर भाजपा के नेताओं के इशारे पर कम करना बंद करें। वहीं, दूसरी ओर थाने में धरने पर बैठे किसानों ने साफ कर दिया है कि उनका यहां उठने का इरादा कतई नहीं। इतना ही किसानों व अफसरों के बीच वार्ता भी बेनतीजा खत्म हो गयी।
दरअसल, बीते गुरुवार को हुए गन्ना समिति के डेलिकेट पद के नामांकन के बाद 102 प्रत्याशियों के निरस्त किए गए पर्चो में गड़बड़ी को लेकर कार्यकर्ताओं और किसानों ने जमकर हंगामा किया। इसके विरोध में ही किसान थाने में डेरा डाले हैं। डेरा भी ऐसा डाला है कि अफसरों के हाथ-पैर फूले हुए रहे। एसएसपी, एसपी सिटी, एसडीएम, एडीएम प्रशासन की तमाम कोशिशों के बाद भी फिलहाल तो किसान उठने के मूड़ में नहीं थे। अफसरों को उन्होंने दो टूक बता दिया है कि जब तक नामांकन में हुई गड़बड़ी को सही नहीं किया जाता है, तब तक धरना खत्म नहीं किया जाएगा।
भाकियू का धरना शुक्रवार रात 8 बजे शुरू हुआ और गन्ना समिति के चुनाव में गड़बड़ी का आरोप लगाते हुए सैकड़ों की संख्या में भारतीय किसान यूनियन के पदाधिकारी और किसान एक दर्जन से अधिक ट्रैक्टर-ट्रॉली और गाड़ियां लेकर परतापुर थाना परिसर में जा पहुंचे और जमकर हंगामा भी किया। किसान यूनियन के कार्यकर्ता और किसान थाना परिसर में ही धरने पर बैठ गए। सूचना मिलने पर पहुंचे प्रशासनिक व पुलिस अधिकारियों की तीन घंटे से अधिक किसानों के साथ चली वार्ता के बाद भी कोई समाधान नहीं निकल सका।
निरस्त किए गए 102 नामांकन को बहाल करने की मांग को लेकर किसान धरने पर ही डटे रहे। यूनियन के जिला अध्यक्ष अनुराग चौधरी ने अधिकारियों के साथ ही वार्ता में कहा कि चुनाव को निष्पक्ष होना चाहिए। सत्ता पक्ष के मंत्रियों के द्वारा चुनाव अधिकारियों से मिलीभगत कर गड़बड़ी की गई है। चुनाव गन्ना समिति का है कि किसानों से जुड़ा है। इसमें सत्ता पक्ष द्वारा अपनी मनमर्जी करना लोकतंत्र पर सीधा प्रहार है। आमरण अनशन पर बैठे किसान नेता विजयपाल घोपला ने कहा कि छोटे-छोटे चुनावों में भी सरकार तानाशाही दिख रही है।
जब तक उनकी मांगों को नहीं माना जाता धरना प्रदर्शन जारी रहेगा। शनिवार दोपहर को भाकियू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत के थाने पहुंचने से पहले यूनियन के कार्यकर्ताओं व किसानों ने दिल्ली से मेरठ आने वाली सड़क पर जाम लगा दिया। जाम के कारण दूसरी सड़क पर लोड बढ़ने से दिल्ली रोड पर एक किलोमीटर लंबा जाम लग गया। जाम की खबर मिलने पर तमाम अफसरों की गाड़ियां हाइवे की ओर दौड़ती नजर आयीं। बामुश्किल काबू पाया जा सका।
टिकैत का नड्डा को पत्र, कंगना पर हमला
दिल्ली बार्डर पर किसान आंदोलन के दौरान किसानों को लेकर बयान देने वाली सिने अभिनेत्री व सांसद कंगना रनौत पर मेरठ की धरती से भाकियू प्रवक्त राकेश टिकैत ने हमला बोला साथ ही उन्होंने भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को एक पत्र भी शनिवार को भेजा है। इस पत्र में किसान नेता राकेश टिकैत ने भारतीय किसान यूनियन के प्रवक्ता चौधरी राकेश टिकैत ने कंगना रनौत पर निशाना साधा। उन्होंने पूछा कि आपकी और पार्टी की क्या मजबूरी रही होगी जो 2024 में हिमाचल की मंडी सीट से ऐसी प्रत्याशी को चुनाव लड़ाया, जिसे देश के बारे में ज्ञान नहीं हैं।
वह बार-बार देश के खेत उपजाऊ वर्ग को अपना निशाना बना रही है। पत्र में उन्होंने कहा है कि दिसंबर 2020 में महिलाओं पर पैसे लेकर धरने पर बैठने जैसे आरोप लगाए थे। जबकि यह वही ग्रामीण महिलाएं हैं, जो ग्रामीण पगडंडियों से देश की आर्थिक स्थिति में एक अहम भूमिका निभाती है। दुग्ध उत्पादकता में सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण भूमिका इन्हीं की रहती है। फरवरी 2021 में देश के किसान को आतंकवादी बताने का काम किया गया। यह वही वर्ग है, जिन्होंने कोरोना जैसी महामारी के समय देश की जीडीपी में अपना योगदान निभाया और देश के प्रत्येक वर्ग को भूखा नहीं सोने दिया। उन्होंने कहा कि बोलने से पहले तोलना अच्छा होता है।