जनवाणी ब्यूरो |
नई दिल्ली: उत्तराखंड के मौसम में ठंडक लगातार बढ़ रही है। पहाड़ से लेकर मैदान तक ठिठुरन है। कहीं धुंध तो कहीं पाला परेशानी बढ़ा रहा है। मंगलवार सुबह भी मौसम का मिजाज बिगड़ा दिखाई दिया।
सुबह कई जगहों पर कोहरे की चादर दिखाई दी। जिससे ठिठुरन महसूस हुई। ऐसे में लोग पहले की अपेक्षा अधिक गर्म पकड़े पहनकर घरों से बाहर निकले। उधर, मसूरी के कंपनी गार्डन में पाला जमने से जमीन सफेद हो गई है।
वहीं, बर्फबारी का इंतजार भी अब खत्म होने वाला है। मौसम विभाग ने मसूरी के साथ हीधनोल्टी, औली, हर्षिल समेत उच्च हिमालयी क्षेत्रों में 27 दिसंबर के बाद बारिश व बर्फबारी की संभावना जताई है।
प्रदेश में भले ही कई दिनों से बारिश और बर्फबारी न हुई हो लेकिन तापमान में तेजी से गिरावट आ रही है। पहाड़ी इलाकों में कड़ाके की ठंड के चलते पाला मुसीबत बढ़ा रहा है तो मैदान में कोहरा परेशानी खड़ा कर रहा है।
नीती घाटी में इन दिनों कड़ाके की ठंड के चलते यहां बहने वाले सभी नदी और नाले पूरी तहर से जम चुके हैं। घाटी में रात को तापमान माइनस 15 डिग्री तक पहुंच रहा है।
उच्च हिमालयी क्षेत्रों में बर्फबारी से सुरक्षा एजेंसियों की चुनौतियां बढ़ गई हैं। यहां तापमान शून्य डिग्री से नीचे पहुंच गया है। इन हालातों में भी हिमवीर चीन सीमा पर जुटे हैं। वे बर्फ पिघलाकर अपनी प्यास बुझा रहे हैं।
मौसम विज्ञान केंद्र के निदेशक विक्रम सिंह का कहना है कि प्रदेश में अभी पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय नहीं हुआ है। यही कारण है कि हर साल दिसंबर में जो मौसम रहता है, वह इस बार देखने को नहीं मिल रहा है। लेकिन जल्द ही मौसम बदलने की संभावना है।