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दो बार के केन्द्रीय मंत्री रहे संजीव बालियान ने सीएम को लिखा पत्र, विपक्षी नेता की तरह पुलिस व प्रशासन को खड़ा किया कठघरे में
जनवाणी टीम |
मुजफ्फरनगर/मेरठ: हद है जनाब! अपनी सरकार में ही असुरक्षित महसूस कर रहे हैं संजीव बालियान दो बार के केन्द्रीय मंत्री रहे संजीव बालियान ने सीएम को लिखा पत्र, विपक्षी नेता की तरह पुलिस और प्रशासन को कठघरे में खड़ा कर रह हैं। अपनी जान का खतरा और पुलिस-प्रशासन पर सवालिया निशान खड़ा करते हुए संजीव ने यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखा है।
पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशाने उठाने के बाद संजीव बालियान से उनकी वाई श्रेणी की सुरक्षा छीन ली गयी, जिसके बाद संजीव बालियान को सीएम को चिट्ठी लिखकर यह याद दिलाना पड़ा कि उन पर हमला हो चुका है। संजीव बालियान की सुरक्षा हटाये जाने के बाद राजनीतिक गलियारों में ही नहीं, बल्कि समाज में भी चर्चाओं का बाजार गर्म है।
डा. संजीव बालियान 2014 में मुजफ्फरनगर लोकसभा से रिकॉर्ड मतों से चुनाव जीतकर सांसद बने थे। 2013 के दंगों के बाद संजीव बालियान लोकप्रिय हुए थे। रिकार्ड मतों से जीतने के कारण उन्हें केन्द्रीय राज्यमंत्री बनाया गया था। 2019 के लोकसभा चुनाव में भी संजीव बालियान ने रालोद अध्यक्ष चौधरी अजित सिंह को हराकर इतिहास रचा था, जिसके बाद माना जाने लगा था कि अब संजीव बालियान को कोई मात देने वाला नहीं है।
परन्तु, वक्त नक करवट बदली और वह 2024 के लोकसभा चुनाव में सपा के हरेन्द्र मलिक से हार गये। इस चुनाव से पहले ही डा. संजीव बालियान को पीछे धकलने के लिए कवायद शुरू हो गयी थी। इस कवायद में न केवल विरोधी थी, बल्कि उनके अपनों ने भी उनकी लुटिया डुबाने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ी थी। डा. संजीव बालियान के चुनाव हारते ही प्रशासनिक अधिकारियों ने भी अपना रवैया बदलना शुरू कर दिया था, जो संजीव बालियान के मंत्री रहते दिन रात उनके दरबार में हाजिरी लगाते थे, अब वह बात करने को तैयार नहीं थे।
सीएम को लिखी चिट्ठी, यह बताई वजह
बालियान ने सीएम योगी आदित्यनाथ को लिखी चिट्ठीमें लिखा था कि आपके (सीएम योगी आदित्यनाथ) संज्ञान में एक प्रकरण लाना चाहता हूं, हो सकता है यह मुजफ्फरनगर पुलिस के अधिकारियों द्वारा आपके संज्ञान में न लाया गया हो। खानुपुर गांव में एक मंदिर एवं धर्मशाली के लिए मंसूरपुर डिस्टिलरी के कर्मचारियों के द्वारा खरीदी गई थी। पूर्व की सरकार के अधिकारियों से मिलीभगत कर यह जमीन डिस्टिलरी द्वारा अपने नाम दाखिल खारिज करा लिया गया था। मुजफ्फरनगर पुलिस के भ्रष्टाचार के खिलाफ आवाज उठाने की वजह से मेरी समस्त सुरक्षा वापस ले ली गई है।
याद दिलाया! लोकसभा चुनाव में हो चुका है हमला
बालियान ने सीएम को लिखे पत्र में याद दिलाते हुए लिखा कि आप जानते हैं कि लोकसभा चुनाव के दौरान मुझ पर जानलेवा हमला हुआ था। अगर भविष्य में भी पुन: हमला हुआ तो इसकी जिम्मेदारी प्रदेश सरकार के अधिकारियों की होगी। मुझे अपनी सुरक्षा की चिंता नहीं है। मेरी सुरक्षा पश्चिमी यूपी के जनता के हाथ में है, लेकिन एक पूर्व केंद्रीय मंत्री के साथ पुलिस का यह व्यवहार है तो आम बीजेपी कार्यकर्ता के क्या हालात होंगे।
पुलिस की कार्यप्रणाली पर उठाये थे सवाल
2024 का लोकसभा चुनाव हारने के बाद डा. संजीव बालियान लगातार जनता के सम्पर्क में थे और जब भी कोई मुद्दा होता था, तो वह जनता के बीच जाकर अपने तेवर दिखाने से नहीं चूकते थे और अपने अंदाज में पुलिस को चुनौती देते थे। बुढ़ाना में हुए प्रदर्शन के बाद तोड़फोड़ के मामले में बालियान बुढ़ाना पहुंचे थे और पुलिस को चेतावनी दी थी, जिसके बाद पुलिस ने हरकत में आते हुए प्रदर्शनकारियों के खिलाफ ताबड़तोड़ कार्रवाई की थी। इसके बाद खानूपुर प्रकरण में भी संजीव बालियान ने मुजफ्फरनगर पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवालिया निशान लगाते हुए पुलिस पर मन्दिर की जमीन पर कब्जा करवाने का आरोप लगाया था, जिसके बाद क्षेत्राधिकारी खतौली ने केन्द्रीय मंत्री के बयान का खंडन करते हुए इसे कोर्ट का आदेश बताया था । इस प्रकरण के बाद डा. बालियान की सुरक्षा हटा ली गयी थी।
उत्तर प्रदेश में पुलिस अधिकारी बेलगाम हो गए हैं, जब पूर्व केंद्रीय मंत्री की नहीं सुनी जाती तो आम कार्यकर्ताओं का क्या हाल होगा, मेरी जान को खतरा है, लेकिन कोई नहीं सुन रहा है, मंदिर और धर्मशाला की जमीन पर मुजफ्फरनगर में कब्जा किया जाता है, जब गांव वाले इकट्ठे हुए तो हमने पुलिस के ऊपर सवाल खड़ा किया तो हमारी सुरक्षा हटा ली गई। सुरक्षा हमारे लिए कोई बड़ा विषय नहीं है, इस मामले को लेकर केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मिलेंगे, सरकार कार्यकर्ताओं की वजह से बनी है, न कि अधिकारियों की वजह से, यह लड़ाई सरकार से नहीं, बल्कि भ्रष्ट अधिकारियों के रवैये के खिलाफ है।
-डा. संजीव बालियान, पूर्व केन्द्रीय राज्यमंत्री।——————————————————————
नियमों के तहत पूर्व केन्द्रीय मंत्री डा. संजीव बालियान को एक गनर दिया जाएगा, नियमानुसार ही सुरक्षा वापिस ली गयी है।
-अभिषेक सिंह, एसएसपी, मुजफ्फरनगर।