Thursday, March 28, 2024
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नारीत्व का सुखद एहसास है ‘मासिक धर्म एवं स्वच्छता’

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  • 28 मई को ‘मासिक धर्म एवं स्वच्छता’ विषय पर हुई कार्यशाला

जनवाणी ब्यूरो |

शामली: नारीत्व की शुरूआत एक सुखद एहसास है और यह सुखद ही बना रहे, इसके लिए आवश्यक है स्वच्छता। स्वच्छता जो सीधे रूप से जुड़ी है नारियों के स्वास्थ्य और सम्मान से।

उक्त विचार भारतीय जैन संघटना के तत्वावधान में शुक्रवार को आयोजित कार्यशाला में स्मार्ट गर्ल कार्यक्रम की प्रशिक्षिका व समाजसेवी डा. रितु जैन ने ‘मासिक धर्म एवं स्वच्छता’ विषय पर व्यक्त किए। उन्होंने बताया 28 मई को यह दिवस पूरे विश्व में मासिक धर्म स्वच्छता दिवस के रूप में मनाया जाता है।

इसे 28 मई को मनाने का सबसे महत्वपूर्ण कारण यह है कि मासिक धर्म का चक्र सामान्यता 28 दिन का माना जाता है। कार्यशाला का उद्देश्य था कि लड़कियों को मासिक धर्म के विषय में ज्यादा से ज्यादा वैज्ञानिक तथ्य तथा उत्तम जीवन पर आधारित सही जानकारी प्रदान की जाए। कार्यशाला में बेटियों और महिलाओं ने भाग लिया जिसमें डा. रितु जैन ने बताया कि यह कोई संकोच या छुपाने का विषय नहीं है।

यह तो ईश्वर का दिया हुआ एक नारी को उपहार है इसी उपहार से नारी का नारीत्व पूर्ण होता है जिसका हमें सम्मान करना चाहिए और स्वच्छता रखकर एवं अपने सही खानपान से अपने स्वास्थ्य का भी ध्यान रखना चाहिए। इस समय में होने वाले इन्फेक्शनो से अपना बचाओ किस प्रकार रखा जा सकता है तथा उसके लिए क्या-क्या आवश्यक तथ्य हैं उनके बारे में बताया गया। कार्यशाला में भाग लेने वाली बेटियों ने विषय पर खुलकर चर्चा की।

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