Wednesday, April 17, 2024
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सलोनी गुर्जर सपा-रालोद की उम्मीदवार

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  • जिपं अध्यक्ष चुनाव: वार्ड-छह से बसपा के समर्थन से जीतीं हैं चुनाव
  • बसपा के आठ सदस्य भी आए साथ, 20 पर पहुंचा विपक्ष का आंकड़ा

जनवाणी संवाददाता |

मेरठ: समाजवादी पार्टी ने मंगलवार को जिला पंचायत अध्यक्ष पद को लेकर अपने पत्ते खोल दिये। सपा नेताओं ने विपक्ष की तरफ से सलोनी गुर्जर को अपना उम्मीदवार घोषित किया है। सलोनी बसपा के समर्थन से वार्ड-छह से चुनाव लड़ी थी। उम्मीदवार घोषणा के दौरान सपा के तमाम बड़े नेता एसजीएम गार्डन लालकुर्ती में मौजूद थे।

वहीं पर मीडिया के सामने सलोनी को सपा का प्रत्याशी घोषित किया गया। कई दिनों से विपक्ष के उम्मीदवार का नाम तय नहीं होने से कशमकश चल रही थी। उम्मीदवार के नाम पर सपा में ही पहले सहमति नहीं बनी थी, लेकिन सपा नेताओं ने बसपा से चुनाव जीतकर आयी सलोनी गुर्जर पर अपना दांव लगाया है। सलोनी के पति अनुज गुर्जर वर्तमान में सकौती सहकारी समिति के चेयरमैन भी है।

सलोनी को प्रत्याशी बनाने का ऐलान पूर्व कैबिनेट मंत्री शाहिद मंजूर, जिलाध्यक्ष चौधरी राजपाल सिंह, सपा नेता अतुल प्रधान, पूर्व विधायक योगेश वर्मा, पूर्व विधायक गुलाम मोहम्मद, महानगर अध्यक्ष आदिल चौधरी, पूर्व मंत्री मुकेश सिद्धार्थ व रालोद के पश्चिमी यूपी के अध्यक्ष चौधरी यशवीर सिंह ने किया। कहा कि सलोनी सपा की ही नहीं, बल्कि विपक्ष की उम्मीदवार है, जिसे जीताने के लिए पूरा विपक्ष एक जुट रहेगा।

इसके लिए रालोद, सपा व बसपा को एक प्लेटफार्म पर जोड़ने का दावा किया गया। बसपा के आठ, रालोद के छह और सपा के छह जिला पंचायत सदस्य भी इस मीटिंग में मौजूद रहे। इस तरह से 20 जिला पंचायत सपा की इस मीटिंग में पहुंचे थे। बसपा के आठ सदस्यों के सपा के साथ आने के बाद मुकाबला कांटे का हो गया है।

जिला पंचायत अध्यक्ष पद को लेकर भाजपा दंभ भर रही थी कि उनकी जीत पक्की है, लेकिन बसपा, सपा व रालोद तीनों के एक साथ आने से जिला पंचायत अध्यक्ष का चुनाव समीकरण बदलता हुआ नजर आ रहा है। वैसे रालोद के नेता पहले ही ऐलान कर चुके हैं कि सपा का जो भी प्रत्याशी होगा, उसे ही रालोद के निर्वाचित जिला पंचायत सदस्य वोट देंगे।

सपा की इस मीटिंग में 20 जिला पंचायत सदस्य मौजूद थे, जिसके बाद भाजपा के लिए परेशानी खड़ी हो सकती है। बसपा के निर्वाचित आठ सदस्य मीटिंग में मौजूद रहे। इस तरह से 20 सदस्यों का एक प्लेटफार्म के नीचे पहुंचना भाजपा को बैचेन कर देने वाला है।

एक निर्दलीय के होने का भी दावा किया गया। सूत्रों ने बताया कि जिला पंचायत अध्यक्ष पद के उम्मीदवार को लेकर सोमवार को सपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने पूर्व कैबिनेट मंत्री को भी चुनाव को लेकर फोन पर बातचीत की और दिशा-निर्देश दिये। यह चुनाव अब कांटे का होता नजर आ रहा है। सपा, बसपा व रालोद एकजुट रही तो भाजपा की राहें मुश्किल हो सकती है।

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