जनवाणी ब्यूरो |
नई दिल्ली: देश में एक बार फिर कोरोना वायरस अपना कहर बरपा रहा है। कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर की रफ्तार बहुत तेज है। महाराष्ट्र, पंजाब और मध्यप्रदेश समेत राज्यों में स्थिति बेहद भयावह हो गई है, इसके चलते कई तरह की पाबंदियां लगाईं जा रहीं हैं।
स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से जारी आंकड़ों के मुताबिक, देश में कोविड-19 के मामलों में 10 गुना से ज्यादा वृद्धि हुई है। इस साल 16 फरवरी को देश में कोरोना के केस सिर्फ 9,121 आए थे, जिसके बाद यह संख्या लगातार बढ़ती ही जा रही है। अप्रैल की शुरुआत में नए मरीजों की संख्या बढ़कर 90 हजार के पार पहुंच चुकी है, जोकि पिछले साल सितंबर के बाद सबसे अधिक है।
स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से जारी आंकड़ों के विश्लेषण से पता चलता है कि शुक्रवार को दुनिया भर में सबसे अधिक कोरोना केस भारत में मिले। भारत ने नए मरीजों के मामले में दुनिया भर में कोरोना संक्रमण से सबसे अधिक प्रभावित अमेरिका को भी पीछे छोड़ दिया।
इससे पहले, 17 सितंबर, 2020 को देश में कोरोना संक्रमण के सर्वाधिक 97,894 नए कोरोना मरीज मिले थे, जो देश में एक दिन में मिलने मरीजों की संख्या सबसे अधिक थी। वहीं अब रविवार को रिकॉर्ड 93 हजार से ज्यादा नए कोरोना के मरीज मिले हैं।
कोरोना के 80 फीसदी मामले इन राज्यों में मिले
मंत्रालय के रविवार सुबह जारी आंकड़ों के अनुसार, भारत में 24 घंटों में कोरोना वायरस के 93,249 नए मामले आए, जो इस साल अब तक आए संक्रमण के सर्वाधिक मामले हैं। इसके साथ ही देश में संक्रमण के कुल मामले बढ़कर 1,24,85,509 हो गए हैं। रविवार को आए संक्रमण के 93,249 नए मामलों में से 80.96 प्रतिशत आठ राज्यों महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, कर्नाटक, दिल्ली, तमिलनाडु, उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश और गुजरात से सामने आए हैं।
केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने रविवार को बताया कि भारत में कोविड-19 के मामले बहुत तेजी से बढ़ रहे हैं। देश में अभी 6,91,597 मरीज इस महामारी से संक्रमित हैं, जो संक्रमण के कुल मामलों का 5.54 प्रतिशत है। बीते 24 घंटे में उपचाराधीन मरीजों की कुल संख्या में 32,688 का इजाफा हुआ है। मंत्रालय ने बताया कि देश में इस बीमारी का इलाज करा रहे मरीजों में से 76.41 प्रतिशत महाराष्ट्र, कर्नाटक, छत्तीसगढ़, केरल और पंजाब में हैं। अकेले महाराष्ट्र में ही 58.19 प्रतिशत मरीज उपचाराधीन हैं।
विशेषज्ञों ने दी यह सलाह
देश में तेजी से बढ़ रहे कोरोना संक्रमण के मामलों पर काबू पाने के लिए विशेषज्ञों ने टीकाकरण अभियान में और तेजी लाने का सुझाव दिया है। साथ ही कोरोना से बचाव संबंधी नियमों का सख्ती से पालन कराने, आवाजाही पर रोक लगाने जैसे कड़े कदम उठाने की सलाह दी है।
इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस, बैंगलोर में संक्रामक रोग अनुसंधान केंद्र के प्रो. अमित सिंह ने बताया, मुझे लगता है कि कोरोना की पहली लहर की तुलना में दूसरी लहर अधिक घातक होने वाली है। कोरोना की पहली लहर की तुलना में दूसरी लहर में संक्रमण के मामलों में तेजी से वृद्धि हो रही है। हम केवल यह उम्मीद करते हैं कि यह कम घातक हो।