Friday, April 19, 2024
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डीएम ने लिया संज्ञान, मुद्दई बेखौफ

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  • गांधी आश्रम: जनवाणी ने लचर सिस्टम पर लगातार चलाई कलम

जनवाणी संवाददाता |

मेरठ: क्रांतिधरा पर प्राचीन धरोहर की खुलेआम लूट की जा रही है। भले ही जनवाणी के लगातार किये जा रहे प्रहार के बाद डीएम के. बालाजी ने संज्ञान लिया हो, लेकिन धरातल पर ऐसा कोई एक्सशन प्लान दिखाई नहीं दिया, जिससे इस लूट पर रोक लगाई जा सके। गुरुवार को भी उसी जगह पर लूट का काम चलता रहा। इससे प्रतीत हो रहा है कि राष्ट्रीय धरोहर गांधी आश्रम को नष्ट होने से बचाने की दिशा में किसी भी अधिकारी की कहीं रुचि नहीं दिख रही है। भले ही डीएम ने संज्ञान ले लिया हो, लेकिन इसमें कोई एक्शन प्लान दिखाई नहीं दिया।

मुख्य मुद्दा यह है कि पहले लीज समाप्त हो चुकी हैंऔर पैसा फंसता देख उक्त तथाकथित क्रेता ने मलबे की तुड़वाई और सफाई का कार्य जारी रखा, ताकि यह व्यक्ति लगाई गयी रकम को इस मलबे को बेचकर पूरा कर सके। गांधी आश्रम की 400 करोड़ की सम्पत्ति को कब्जाने के मामले में डीएम के. बालाजी ने गुरुवार को संज्ञान लिया। खादी और ग्रामोद्योग आयोग के डायरेक्टर राजेश श्रीवास्तव व डिप्टी डायरेक्टर बलराम दीक्षित को डीएम ने मय दस्तावेज के तलब किया था।

डीएम ने आयोग के अधिकारियों ने इस पूरे मामले की जानकारी ली। एक तरफ तो डीएम गांधी आश्रम की 400 करोड़ की प्रॉपर्टी को लेकर सख्त नजर आये, वहीं दूसरी और आश्रम परिसर में गुरुवार को भी पूरा दिन तोड़फोड़ का काम चला, जिसे प्रशासनिक या आयोग के अधिकारियों के स्तर से नहीं रुकवाया गया।

प्राचीन गांधी आश्रम रूपी धरोहर को कुछ लोगों की नजर लग गई, जिसके चलते इस सम्पत्ति की गलत तरीके से लीज डीड करा ली है। सम्पत्ति कब्जाने के पूरे खेल में सिंडीकेट काम कर रहा है। प्रशासन की तरफ से कार्रवाई होने के बाद ही इस पूरे रैकेट का खुलासा संभव हो सकता हैं।

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ग्रामोद्योग के डायरेक्टर राजेश श्रीवास्त ने दो दिन पहले ही कमिश्नर व डीएम को पत्र लिखा था, जिसमें गांधी आश्रम की सम्पत्ति को लीज पर देना गलत बताया था। इस मामले में कमिश्नर व डीएम से कार्रवाई करने की मांग की थी। इसी मामले को लेकर गुरुवार को डीएम ने आयोग के डायरेक्टर राजेश श्रीवास्तव व डिप्टी डायरेक्टर बलराम दीक्षित को अपने आॅफिस में तलब किया था।

डीएम ने आयोग के अधिकारियों से गांधी आश्रम की सम्पत्ति को लेकर फीड बैक लिया तथा इसमें प्रभावी कार्रवाई करने का भी आश्वासन दिया। माना जा रहा है कि इस प्रकरण में एक-दो दिन में प्रशासनिक स्तर से बड़ी कार्रवाई संभव हो सकती है। इस पूरे खेल में डिप्टी रजिस्ट्रार की भूमिका को लेकर भी सवाल उठ रहे हैं। उन पर भी कार्रवाई हो सकती है। जब आयोग के अधिकारियों ने उन्हें पत्र लिखकर कार्रवाई करने की मांग की थी।

इसके बाद भी डिप्टी रजिस्ट्रार चुप्पी साधे हुए हैं। लीज का किराया अभी मिला नहीं, फिर कब्जा कैसे दे दिया? यह भी बड़ा सवाल है। आयोग ने लीज निरस्त कर दी हैं, इसके बावजूद जबरिया कब्जा चल रहा है। पांच दिन से आश्रम की सम्पत्ति को नष्ट कर क्षति पहुंचाई जा रही है। यह पूरा काम बैखोफ चल रहा है। डीएम के संज्ञान लेने के बाद भी गुरुवार को भी पूरा दिन आश्रम में तोड़फोड़ करने का काम चलता रहा। रेणुका आशियाना प्राइवेट लि. की रेनु गुप्ता पत्नी पंकज गुप्ता भी मौके पर पहुंचकर जबरिया तोड़फोड़ करा रहे थे, जिसे जनवाणी के फोटो जर्नलिस्ट ने कैमरे में कैद कर लिया। पंकज गुप्ता के पिता भी तोड़फोड़ करा रहे थे, जिसकी वीडियो व फुटेज रिकॉर्डिंग जनवाणी के पास मौजूद है।

3271 मीटर की कराई थी लीज

खादी और ग्रामोद्योग आयोग के डायरेक्टर राजेश श्रीवास्तव ने डीएम के.बालाजी को लिखे पत्र में कहा है कि क्षेत्रीय श्रीगांधी आश्रम गढ़ रोड मेरठ की अचल सम्पत्ति को लीज पर नियम विरुद्ध दिया गया। पत्र में कहा गया है कि 3271 वर्ग मीटर भूमि रेणुका आशियाना प्राइवेट लि. की रेनु गुप्ता पत्नी पंकज गुप्ता के नाम की गई लीज डीड को पूर्व की भांति यथास्थिति बहाल करने एवं समस्त प्रक्रिया पर रोक लगाने के लिए उप निबंधक रजिस्ट्रार कार्यालय मेरठ को आदेशित करें। वर्तमान में गांधी आश्रम ने लीज लेने वाली कंपनी को जमीन पर कब्जा दे दिया गया है।

जो वैधानिक रूप से उचित नहीं है। इस प्रकरण में संज्ञान लेते हुए डिप्टी रजिस्ट्रार कार्यालय को उक्त डीड को निरस्त किया जाए। इस पत्र के बाद भी डिप्टी रजिस्ट्रार ने कोई कार्रवाई नहीं की। इस पूरे प्रकरण में प्रशासनिक अफसर चुप्पी साधे हुए हैं। यह तब है जब 400 करोड़ की सम्पत्ति को शहर में कब्जाने का काम चल रहा है।

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